Bijnor स्योहारा क्षेत्र के गांव सुल्तानपुर में एक भयानक सड़क दुर्घटना ने पूरे परिवार का सुख छीन लिया। शनिवार देर रात खेत से लौट रहे दो सगे भाइयों की मौत हो गई, जिससे उनके परिजनों के साथ-साथ पूरा गांव स्तब्ध है। घटना इतनी भयावह थी कि दोनों भाई मौके पर ही दम तोड़ बैठे।
क्या हुआ था?
महेंद्र सैनी (40) और भूपेंद्र सैनी (32) दोनों अमर सिंह के बेटे थे और गांव झिल्ला में अपने खेत से बुलेट बाइक पर घर लौट रहे थे। रास्ते में लक्ष्य कॉलेज के पास किसी अज्ञात वाहन ने उनकी बाइक को जोरदार टक्कर मार दी। टक्कर इतनी तेज थी कि दोनों भाई वहीं ढेर हो गए। मौके पर पहुंची पुलिस ने उन्हें सीएचसी ले जाया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।
परिवार पर मौत का साया
परिजनों को जब यह खबर मिली, तो उनका सुखी संसार एक पल में तबाह हो गया। अमर सिंह के केवल दो ही बेटे थे, और दोनों एक साथ चले गए। परिवार के सदस्यों का कहना है कि अब उनके सामने जीवन की राह नजर नहीं आ रही। गांव वालों का भी कहना है कि यह घटना पूरे इलाके के लिए एक सदमे से कम नहीं है।
पुलिस की जांच जारी
थाना प्रभारी निरीक्षक अमित कुमार ने बताया कि मामले की गंभीरता को देखते हुए सीसीटीवी फुटेज की मदद से अज्ञात वाहन की तलाश की जा रही है। पुलिस का कहना है कि जल्द ही दोषी को पकड़ा जाएगा और कार्रवाई की जाएगी।
सड़क सुरक्षा पर सवाल
यह घटना एक बार फिर सड़क सुरक्षा के मुद्दे को उजागर करती है। अक्सर देखा जाता है कि रात के समय गांवों में सड़कें सुनसान होती हैं और गति से चलने वाले वाहनों के कारण ऐसी दुर्घटनाएं हो जाती हैं। स्थानीय लोगों का कहना है कि अगर पुलिस ने सख्त नियम बनाए होते और स्पीड कैमरों का इस्तेमाल किया होता, तो शायद यह हादसा टल सकता था।
समाज की संवेदनहीनता
इस घटना ने एक बार फिर यह सवाल खड़ा कर दिया है कि क्या हमारे समाज में संवेदनशीलता की कमी हो गई है? जिस वाहन चालक ने इन दोनों भाइयों को टक्कर मारी, वह मौके से भाग गया। क्या एक इंसान की जान इतनी सस्ती हो गई है कि उसे बचाने की कोशिश भी नहीं की जाती?
आगे की कार्रवाई
पुलिस ने दोनों शवों का पंचनामा भरकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। अब जांच के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। परिवार वाले न्याय की उम्मीद लगाए बैठे हैं, लेकिन सवाल यह है कि क्या न्याय मिलने से उनके दर्द को शांति मिल पाएगी?
यह दुर्घटना न सिर्फ एक परिवार के लिए बल्कि पूरे समाज के लिए एक करारा झटका है। सड़क सुरक्षा को लेकर सरकार और प्रशासन को गंभीर कदम उठाने होंगे, वरना ऐसी घटनाएं थमने वाली नहीं हैं।