Lucknow गाजीपुर के रविंद्रपल्ली इलाके में एक ट्यूशन टीचर के साथ हुई घटना ने एक बार फिर सोशल मीडिया और डेटिंग एप्स के खतरों को उजागर कर दिया है। एक युवक से ऑनलाइन दोस्ती करने के बाद टीचर को उनके ही घर में बंधक बना लिया गया और तीन लाख रुपये की लूटपाट की गई। यह घटना न सिर्फ चौंकाने वाली है, बल्कि यह सवाल भी खड़ा करती है कि क्या वाकई हम ऑनलाइन दोस्ती पर भरोसा कर सकते हैं?
क्या हुआ था? पूरी कहानी
53 वर्षीय टीचर, जो पहले एक प्राइवेट कंपनी में इंजीनियर थे, अब ट्यूशन पढ़ाकर अपना गुजारा करते हैं। पिछले कुछ समय से वह अकेलेपन से जूझ रहे थे, खासकर तब से जब उनके पिता का निधन हो गया। इसी अकेलेपन को दूर करने के लिए उन्होंने ग्रिंडर (Grindr) नामक डेटिंग एप पर अपनी प्रोफाइल बनाई। यह एप मुख्य रूप से LGBTQ+ समुदाय के लोगों के लिए बनाया गया है, जहां वे नए लोगों से मिल सकते हैं।
कुछ दिनों की चैटिंग के बाद टीचर की एक युवक से दोस्ती हो गई। बातचीत इतनी गहरी हुई कि दोनों ने आमने-सामने मिलने का फैसला किया। बुधवार की दोपहर करीब 1:30 बजे वह युवक टीचर के घर पहुंचा। शुरुआत में सब कुछ सामान्य लगा, लेकिन कुछ देर बाद उस युवक ने अपने एक साथी को भी बुला लिया।
अचानक हमला! टीचर को बनाया बंधक
दोनों युवकों ने टीचर के साथ बातचीत जारी रखी और धीरे-धीरे घर का जायजा लेने लगे। फिर अचानक उन्होंने टीचर पर हमला कर दिया। विरोध करने पर उन्हें पीटा गया, मुंह और हाथ बांध दिए गए। इसके बाद दोनों ने अलमारी से तीन लाख रुपये नकद और कीमती सामान लूट लिया।
टीचर ने बड़ी मुश्किल से खुद को बंधन से मुक्त किया और तुरंत पुलिस को सूचना दी। गाजीपुर थाने में मामला दर्ज करते हुए पुलिस ने सर्विलांस फुटेज और मोबाइल नंबर के आधार पर आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है।
पुलिस की कार्रवाई: क्या कहते हैं अधिकारी?
एसीपी गाजीपुर ए. विक्रम सिंह ने बताया कि मुख्य आरोपी का मोबाइल नंबर मिल चुका है और पुलिस टीम उसके ठिकाने का पता लगाने में जुटी है। कुछ इलाकों में छापेमारी भी की गई, लेकिन अभी तक कोई सफलता नहीं मिली है।
पुलिस का कहना है कि इस तरह के मामलों में अक्सर आरोपी नकली प्रोफाइल बनाकर शिकार को फंसाते हैं। उन्होंने लोगों से सावधानी बरतने की अपील की है और कहा कि ऑनलाइन दोस्ती में जल्दबाजी न करें।
ग्रिंडर एप: क्या है यह और क्यों हो रहे हैं ऐसे मामले?
ग्रिंडर एक पॉपुलर सोशल नेटवर्किंग एप है, जिसे विशेष रूप से LGBTQ+ समुदाय के लोगों के लिए बनाया गया है। यहां लोग नए दोस्त बना सकते हैं, चैट कर सकते हैं और डेटिंग भी कर सकते हैं। हालांकि, इस तरह के प्लेटफॉर्म पर कई बार धोखाधड़ी और अपराध के मामले भी सामने आते रहते हैं।
साइबर एक्सपर्ट्स के अनुसार, ऐसे एप्स पर अक्सर फर्जी प्रोफाइल बनाकर लोगों को फंसाया जाता है। कई बार तो ये गिरोह बड़े पैमाने पर ऐसे हमले करते हैं और फिर गायब हो जाते हैं।
ऑनलाइन डेटिंग के खतरे: कैसे बचें?
- अनजान लोगों पर भरोसा न करें – किसी से भी जल्दबाजी में मिलने की गलती न करें।
- पब्लिक प्लेस पर ही मिलें – पहली मुलाकात किसी सार्वजनिक जगह पर ही करें।
- पर्सनल डिटेल्स शेयर न करें – बैंक डिटेल्स, घर का पता जैसी जानकारी किसी के साथ शेयर न करें।
- सोशल मीडिया प्रोफाइल चेक करें – अगर किसी से मिल रहे हैं, तो उसकी सोशल मीडिया प्रोफाइल जरूर वेरिफाई करें।
- संदेह हो तो पुलिस से संपर्क करें – अगर कुछ शक हो, तो तुरंत पुलिस को सूचित करें।
अब क्या? पुलिस की जांच जारी
गाजीपुर पुलिस ने इस मामले को गंभीरता से लिया है और आरोपियों की तलाश जारी है। सर्विलांस कैमरों के फुटेज और मोबाइल नंबर के आधार पर जल्द ही कुछ सुराग मिलने की उम्मीद है।
इस घटना ने एक बार फिर साबित किया है कि ऑनलाइन दुनिया में सावधानी बरतना कितना जरूरी है। अगर आप भी किसी डेटिंग एप का इस्तेमाल करते हैं, तो सतर्क रहें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की सूचना तुरंत पुलिस को दें।
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