प्रयागराज की ऐतिहासिक धरती पर स्थित Allahabad Central University, जिसे ‘पूरब का ऑक्सफोर्ड’ कहा जाता है, 27 नवंबर को अपने 136वें दीक्षांत समारोह का आयोजन करने जा रही है। इस समारोह में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहेंगे। विश्वविद्यालय के चांसलर आशीष कुमार चौहान विशिष्ट अतिथि के रूप में कार्यक्रम की शोभा बढ़ाएंगे।
इस विशेष अवसर पर वर्ष 2024 में स्नातक और परास्नातक पूरा करने वाले विद्यार्थियों को डिग्रियां प्रदान की जाएंगी। मेधावी छात्र-छात्राओं को उनकी उत्कृष्ट उपलब्धियों के लिए पदक दिए जाएंगे। समारोह सुबह 11 बजे यूनिवर्सिटी के सीनेट परिसर के नॉर्थ हॉल में आरंभ होगा।
कवि कुमार विश्वास को मानद उपाधि
हिंदी साहित्य और कविता के क्षेत्र में अद्वितीय योगदान के लिए मशहूर कवि कुमार विश्वास को इस बार विश्वविद्यालय की ओर से मानद उपाधि से सम्मानित किया जाएगा। कुमार विश्वास ने न केवल हिंदी को देश में बल्कि वैश्विक स्तर पर एक नई पहचान दिलाई है। उनकी कविताएं आज भी युवाओं के बीच लोकप्रिय हैं और हिंदी के प्रचार-प्रसार में उन्होंने विशेष भूमिका निभाई है।
कुलपति प्रो. संगीता श्रीवास्तव ने कहा, “हिंदी हमारी राजभाषा है, लेकिन इसे राष्ट्रभाषा का दर्जा दिलाना हमारी प्राथमिकता होनी चाहिए। कुमार विश्वास जैसे साहित्यकारों का योगदान हमें इस दिशा में प्रेरित करता है।”
मेधावी छात्र-छात्राओं को मिलेगा सम्मान
दीक्षांत समारोह के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मंच से 8 प्रमुख मेधावी विद्यार्थियों को मेडल प्रदान करेंगे। शेष 136 विद्यार्थियों को परीक्षा अनुभाग के माध्यम से उनके मेडल प्रदान किए जाएंगे।
मंच से मेडल पाने वाले प्रमुख नामों में शामिल हैं:
- दीक्षा पांडेय (एमए संस्कृत)
- रिया तिवारी (एमएससी केमिस्ट्री)
- रिया वर्मा (एमकॉम)
- नेहा उत्तम (विधि)
- आंचल त्रिपाठी (बीए संस्कृत और हिंदी)
- मणि रश्मि (बीएससी बॉटनी और केमिस्ट्री)
- शुभम कुमार यादव (बीकॉम कॉमर्स)
- रितिका सिंह (बीए एलएलबी)
विभिन्न संकायों में पदक विजेता
इस बार बीए के विद्यार्थियों को सबसे अधिक पदक प्रदान किए जाएंगे। हिंदी विभाग की छात्रा आंचल त्रिपाठी को अकेले 6 पदक मिलेंगे। इकोनॉमिक्स के छात्र हर्षवर्धन बाजपेई को 4 पदक (तीन स्वर्ण और एक रजत) प्रदान किए जाएंगे। बीएससी और बीकॉम के विद्यार्थियों को भी उनके प्रदर्शन के लिए पदक से नवाजा जाएगा।
विशेष उपलब्धियों में शामिल हैं:
- एलएलबी ऑनर्स की छात्रा अंजुम आरा को 4 स्वर्ण पदक।
- बीटेक के मेधावी विद्यार्थियों को 3 स्वर्ण पदक।
- स्नातक और परास्नातक स्तर पर विज्ञान, वाणिज्य, और कला संकाय के कुल 70 विद्यार्थियों को पदक प्रदान किए जाएंगे।
शैक्षणिक सुधार और रिक्त पदों की भर्ती
कुलपति प्रोफेसर संगीता श्रीवास्तव ने अपने कार्यकाल में विश्वविद्यालय के प्रशासन और शैक्षणिक ढांचे को मजबूत करने के कई बड़े कदम उठाए हैं। पिछले चार वर्षों में उन्होंने शिक्षकों और शिक्षणेत्तर कर्मचारियों के 70% रिक्त पदों को भरने का उल्लेखनीय कार्य किया।
उन्होंने बताया कि इस दौरान 25 प्रदेशों और 15 देशों से शिक्षकों की नियुक्ति की गई है। यह कदम विश्वविद्यालय को एक वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धी बनाने में सहायक सिद्ध हुआ है।
इतिहास में दीक्षांत समारोह का महत्व
इलाहाबाद सेंट्रल यूनिवर्सिटी का दीक्षांत समारोह हमेशा से शिक्षा और उपलब्धियों का प्रतीक रहा है। इससे पहले 1996 में ‘मिसाइल मैन’ पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम और मुख्य चुनाव आयुक्त टीएन शेषन को मानद उपाधि से सम्मानित किया गया था।
2023 में प्रख्यात वैज्ञानिक डॉ. दीपक धर और 2001 में नोबेल पुरस्कार विजेता प्रो. रिचर्ड अर्नेस्ट को डीएसी की उपाधि दी गई। इस परंपरा को आगे बढ़ाते हुए, इस बार कुमार विश्वास को उनकी साहित्यिक उपलब्धियों के लिए यह सम्मान दिया जाएगा।
सीएम योगी का संबोधन और शिक्षानीति पर जोर
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के संबोधन में शिक्षा क्षेत्र में सुधार और युवाओं के सशक्तिकरण के लिए राज्य सरकार की योजनाओं का उल्लेख होने की संभावना है। उनकी उपस्थिति इस दीक्षांत समारोह को और भी यादगार बनाएगी।
इस दीक्षांत समारोह के माध्यम से इलाहाबाद सेंट्रल यूनिवर्सिटी न केवल अपने विद्यार्थियों की उपलब्धियों का जश्न मनाएगी, बल्कि शिक्षा के क्षेत्र में नए मील के पत्थर स्थापित करने की दिशा में प्रेरित करेगी।