सैफई परिवार में चल रही आपसी अनबन जग जाहिर है, लेकिन मैनपुरी के लोकसभा उपचुनाव में सैफई परिवार शुरू से ही सब ठीक होने का दावा कर रहा है। सोमवार को डिंपल यादव के नामांकन में शिवपाल सिंह की गैर मौजूदगी ने एक बार फिर अखिलेश और शिवपाल के बीच की तकरार को बयां कर दिया। हालांकि अखिलेश यादव परिवार में सब ठीक होने की बात कहते रहे।
वर्ष 2018 से ही पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव और शिवपाल सिंह यादव ने अपने रास्ते अलग कर लिए थे। इसके बाद से ही दोनों में मतभेद चले आ रहे हैं। विधानसभा चुनाव में प्रसपा ने सपा के साथ मिलकर चुनाव लड़ा, लेकिन चुनाव के बाद फिर से ये दूरियां बढ़ गईं। अब मैनपुरी लोकसभा सीट पर हो रहे उपचुनाव में डिंपल यादव को सपा चुनाव लड़ा रही है। इसे लेकर पूरा सैफई परिवार एकजुट होने का दावा कर रहा है।
अखिलेश यादव ने भी सोमवार को डिंपल यादव के नामांकन के दौरान परिवार के एकजुट होने की बात दोहराई। लेकिन शिवपाल सिंह यादव की गैर मौजूदगी ने एक बार फिर ये अहसास करा दिया कि परिवार में सब कुछ ठीक नहीं है।
नामांकन में पूरा सैफई परिवार शामिल हुआ, लेकिन शिवपाल या उनके बेटे आदित्य यादव कहीं नजर नहीं आए। ऐसे में शिवपाल के न आने का और क्या कारण हो सकता है। वहीं अब तक डिंपल यादव को उपचुनाव में उतारने को लेकर शिवपाल सिंह का बयान सामने नहीं आया है।
रामगोपाल बोले- सब ठीक है
डिंपल यादव के नामांकन में पहुंचे सपा के राष्ट्रीय महासचिव प्रो. रामगोपाल यादव ने दावा किया था कि परिवार में सब ठीक है। शिवपाल सिंह से पूछकर ही डिंपल यादव को मैनपुरी उपचुनाव में प्रत्याशी बनाया गया है। उन्होंने ये भी दावा किया था कि शिवपाल सिंह के बेटे और प्रसपा के प्रदेश अध्यक्ष आदित्य यादव भी डिंपल यादव के साथ नामांकन में आ रहे हैं। लेकिन नामांकन में कहीं भी आदित्य यादव भी नजर नहीं आए।
शिवपाल के सवाल पर बचते रहे अखिलेश
कलक्ट्रेट पर डिंपल यादव के नामांकन के बाद वापस लौटे अखिलेश यादव भी शिवपाल सिंह के न आने के सवाल पर बचते नजर आए। हर बार उन्होंने इस सवाल के जवाब में परिवार के एकजुट होने की बात कहकर बात को घुमा दिया। उन्होंने कहा कि नेताजी के निधन से परिवर गमगीन है और सादगी पूर्ण ढंग से नामांकन करने आया है। आगे प्रचार में सब आएंगे।
सैफई परिवार में चल रही आपसी अनबन जग जाहिर है, लेकिन मैनपुरी के लोकसभा उपचुनाव में सैफई परिवार शुरू से ही सब ठीक होने का दावा कर रहा है। सोमवार को डिंपल यादव के नामांकन में शिवपाल सिंह की गैर मौजूदगी ने एक बार फिर अखिलेश और शिवपाल के बीच की तकरार को बयां कर दिया। हालांकि अखिलेश यादव परिवार में सब ठीक होने की बात कहते रहे।
वर्ष 2018 से ही पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव और शिवपाल सिंह यादव ने अपने रास्ते अलग कर लिए थे। इसके बाद से ही दोनों में मतभेद चले आ रहे हैं। विधानसभा चुनाव में प्रसपा ने सपा के साथ मिलकर चुनाव लड़ा, लेकिन चुनाव के बाद फिर से ये दूरियां बढ़ गईं। अब मैनपुरी लोकसभा सीट पर हो रहे उपचुनाव में डिंपल यादव को सपा चुनाव लड़ा रही है। इसे लेकर पूरा सैफई परिवार एकजुट होने का दावा कर रहा है।
अखिलेश यादव ने भी सोमवार को डिंपल यादव के नामांकन के दौरान परिवार के एकजुट होने की बात दोहराई। लेकिन शिवपाल सिंह यादव की गैर मौजूदगी ने एक बार फिर ये अहसास करा दिया कि परिवार में सब कुछ ठीक नहीं है।
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