सहारनपुर: उत्तर प्रदेश के सहारनपुर स्थित सिद्धपीठ श्री शाकुंभरी देवी खोल में शिवालिक पहाड़ियों में हो रही लगातार बारिश के कारण अचानक से सैलाब आ गया। सैलाब में श्रद्धालुओं की कार बह गई। हादसे में एक महिला की मौत हो गई, जबकि आश्रम के साधुओं ने कार चालक और दो लड़कियों को बचा लिया। घटना के बाद बाढ़ चौकी कर्मचारियों की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े हो रहे हैं।
ये है पूरा घटनाक्रम
मंगलवार सुबह सिद्धपीठ मां शाकुंभरी देवी के दर्शनों के लिए सहारनपुर से श्रद्धालु आए। एक कार शाकुंभरी खोल में अचानक आए जलसैलाब में बह गई। हादसे के चलते कार में सवार लगभग 55 वर्षीय एक महिला की मौत हो गई, जबकि दो लड़कियां व कार चालक को शंकराचार्य आश्रम के साधुओं ने बचा लिया। मृतका की पहचान सहारनपुर के थाना कुतबशेर स्थित शुगर मिल कॉलोनी निवासी सीमा पत्नी हेमंत के रूप में हुई, जबकि रिया (22) पुत्री हेमन्त, तानिया, मेघा और चालक रवि घायल हो गए। घायलों को उपचार के लिए सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बेहट भिजवाया गया। घटना की सूचना दिए जाने के काफी देर बाद मिर्ज़ापुर कोतवाली प्रभारी निरीक्षक हृदय नारायण सिंह मौके पर पहुंचे। इसको लेकर शंकराचार्य आश्रम के साधुओं से उनकी तीखी नोकझोंक भी हुई।
शंकराचार्य आश्रम के महंत शंहजानंद जी महाराज ने कहा कि दो दिन पूर्व हुई घटना के बाद भी प्रशासन ने सबक नहीं लिया है। इसी का परिणाम है कि एक महिला को जान गंवानी पड़ी। ग्रामीणों ने पुलिस एवं राजस्व विभाग की टीम पर सवालिया निशान लगाते हुए कहा कि बाढ़ चौकी पर तैनात कोई भी कर्मचारी मौके पर मौजूद नहीं था।
ये बोले एसपी देहात
मामले को लेकर एसपी देहात सूरज राय का कहना था कि मिर्जापुर कोतवाली क्षेत्र के सिद्धपीठ श्री शाकुंभरी देवी खोल में अचानक से बाढ़ आने के चलते एक कार पानी में बह गई थी। हादसे में एक महिला की मौत हुई है। मृतका के शव रेस्क्यू कर लिया गया है। मौके पर रेस्क्यू टीम मौजूद है। मामले में आवश्यक कार्रवाई की जा रही है।
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