नोएडा: सुपरटेक एमराल्ड कोर्ट (Supertech Emrald Court) के बेसमेंट के स्ट्रक्चरल ऑडिट में बड़े पैमाने पर गड़बड़ी सामने आई है। यहीं पर ट्विन टॉवर्स (Twin Towers) को गिराए जाने की प्रक्रिया को पूरा कराया जाना है। इसे देश का सबसे बड़ा डेमोलिशन अभियान करार दिया जा रहा है। एमराल्ड कोर्ट के स्ट्रक्चरल ऑडिट में बड़ा मामला सामने आया है। दिल्ली के डी एंड आर कंसल्टेंट की ओर से कराए गए स्ट्रक्चरल आडिट में सामने आया है कि 500 में से आधे यानी 250 कॉलम में समस्या है। बेसमेंट के बड़े भाग में लीकेज और क्रैक की समस्या सामने आई है। कॉलम की क्षमता एम-25 रखा जाना चाहिए था, जबकि एम-8 से एम-13 के बीच अधिकांश कॉलम पाए गए। कॉलम के कमजोर होने के कारण इनके ढहने की संभावना है।
ट्विन टावर के विध्वंश के दौरान इस पूरे इलाके के लोगों की चिंता बढ़ गई है। दिल्ली की कंपनी के सर्वे में साफ कहा गया है कि एमराल्ड कोर्ट भवन के कॉलम की तत्काल रेट्रोफिटिंग की जरूरत है। ट्विन टावर के एपेक्स और सायन के गिराए जाने को लेकर 660 फ्लैट वाले पूरे परिसर में चिंताएं बढ़ गई हैं। एपेक्स टावर की ऊंचाई 100 मीटर और सायन टावर की ऊंचाई 97 मीटर है। उन्हें विस्फोटकों के उपयोग से गिराए जाने की तैयारी की गई है। इन दोनों टावर के एक बड़ी आबादी रहती है। यहां एक तरफ एमराल्ड कोर्ट और दूसरी तरफ एटीएस ग्रीन्स विलेज है। एमराल्ड कोर्ट में एस्टर भी इसके दायरे में आता है।
सात इमारतों का हुआ है प्री-ब्लास्ट ऑडिट
टावरों के गिराने से पहले मुंबई की कंपनी ने अलग से एपेक्स और सायन टावरों के पास की सात इमारतों का प्री-ब्लास्ट ऑडिट किया है। एडिफिस इंजीनियरिंग की दूसरी ऑडिट रिपोर्ट महीने के अंत तक केंद्रीय भवन अनुसंधान संस्थान (सीबीआरआई) को सौंपे जाने की उम्मीद है। अगर किसी प्रकार का दोष दिखता है तो उसे 30 जुलाई तक सुपरटेक की ओर से सुधारा जाना होगा। अभी तक आरडब्लूए की ओर से लाई गई निजी फर्म की रिपोर्ट को ही नोएडा अथॉरिटी को सौंपी गई है। कंपनी के स्ट्रक्चरल इंजीनियर एवं कंपनी के निदेशक रेवती रमन सिंह ने कहा कि हमने शुरू में विचार किए गए डिजाइन मानकों के नीचे सामग्री की गुणवत्ता को काफी कम पाया। कॉलम और बीम की सतह पर खुरदुरे सुदृढीकरण के साथ दृश्य दरारें थीं।
रिपोर्ट में कहा गया है कि माइक्रो-कंक्रीटिंग और सभी बेसमेंट बीम, कॉलम को मजबूत करने का प्रस्ताव दिया है। निष्कर्षों के बारे में पूछे जाने पर नोएडा प्राधिकरण के महाप्रबंधक (योजना) इश्तियाक अहमद ने कहा कि उसने रिपोर्ट पर ध्यान दिया, लेकिन सीबीआरआई द्वारा दी गई सिफारिशों पर चलेगा। 7 जून को विध्वंश कार्य में प्रगति पर चर्चा होगी।
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