दुबई में हुए टी-20 विश्व कप में 24 अक्तूबर 2021 को भारत की हार और पाकिस्तान की जीत पर जश्न मनाने के केस में आरोपी कश्मीरी छात्र अरशीद यूसुफ, शौकत अहमद गनी और इनायत अल्ताफ शेख के खिलाफ कोर्ट में चार्जशीट पेश कर दी गई। इसमें उन्हें राष्ट्रद्रोह और साइबर आतंकवाद की धारा के तहत आरोपी बनाया गया है। तीनों बिचपुरी स्थित आरबीएस इंजीनियरिंग संकाय से इंजीनियरिंग कर रहे थे। पुलिस ने चार्जशीट के लिए शासन से अनुमति मांगी थी। मगर, अनुमति नहीं मिली। हालांकि आरोपियों की गिरफ्तारी को 90 दिन पूरे हो रहे थे। चार्जशीट नहीं लगने पर आरोपियों को जमानत मिल सकती थी। इस पर पुलिस ने मंगलवार को कोर्ट में चार्जशीट पेश कर दी। थाना जगदीशपुरा के प्रभारी निरीक्षक प्रवींद्र कुमार सिंह ने बताया कि आरोपियों के खिलाफ राष्ट्रद्रोह और साइबर आतंकवाद की धारा में कोर्ट में चार्जशीट पेश की गई है। इसमें 12 गवाह बनाए गए हैं। इनमें कालेज प्रबंधन से जुड़े लोगों के साथ ही छात्र और अन्य लोग हैं।
साक्ष्य के रूप में मोबाइल, व्हाट्स एप पर डाले गए स्टेट्स की सीडी हैं। तीनों आरोपी जेल में बंद हैं। 90 दिन में चार्जशीट पेश करनी थी। इसकी समय सीमा खत्म हो रही थी। इसके लिए शासन से अनुमति मांगी गई थी। मगर, अभी अनुमति नहीं आई है। यह अभी बाद में भी आ जाएगी। विधि विज्ञान प्रयोगशाला की रिपोर्ट भी बाद में सम्मिलित किया जाएगा। रिपोर्ट जल्द भेजने के लिए पत्राचार किया जाएगा। चार्जशीट नहीं लगने पर आरोपियों को लाभ मिलता।
टी-20 विश्वकप में 24 अक्तूबर 2021 को भारत पाकिस्तान के बीच क्रिकेट मैच हुआ था। भारत पर पाकिस्तान की जीत के बाद आरोपी तीनों छात्रों ने व्हाटस एप पर स्टेटस डाला था। आरोप है कि उन्होंने पाकिस्तान की जीत पर जश्न मनाया। देश विरोधी नारेबाजी की। सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल होने के बाद लोगों को जानकारी हुई थी। कॉलेज प्रबंधन ने तीनों कश्मीरी छात्रों को निलंबित कर दिया था। बाद में भाजयुमो पदाधिकारियों ने कॉलेज पहुंचकर प्रदर्शन किया था। कार्रवाई की मांग की थी।
पुलिस ने मुकदमा दर्ज किया था। अरशीद यूसुफ, शौकत अहमद गनी बड़गांव और इनायत अल्ताफ शेख बांदीपोरा के रहने वाले हैं। पुलिस ने आरोपियों को 27 अक्तूबर 2021 को गिरफ्तार किया। दूसरे दिन कोर्ट में पेश किया था। इसके बाद जेल भेजा गया था। मुख्यमंत्री तक यह मामला पहुंचा था। शासन ने सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए थे।
इस मामले में थाना जगदीशपुरा में भारतीय जनता युवा मोर्चा के पदाधिकारी गौरव राजावत की तहरीर पर धारा 153 ए, 505 (1)(बी) और आईटी एक्ट की धारा-66 एफ में मुकदमा दर्ज किया था। बाद में राष्ट्रद्रोह की धारा 124ए की वृद्धि की गई थी। आरोपियों का मोबाइल फोरेंसिक साइंस लैब भी भेजा गया था।
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