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वाराणसी: गंगा में शैवाल मिलने पर प्रशासन सतर्क, जांच टीम ने खिड़किया घाट से मिर्जापुर तक पानी के लिए नमूने

वाराणसी में गंगा नदी में हरे शैवाल मिलने के बाद जिला प्रशासन सतर्क हो गया है। जिलाधिकारी के निर्देश में गठित टीम ने मंगलवार को खिड़किया घाट से मिर्जापुर तक गंगा नदी में विभिन्न स्थानों पर जहां-जहां पानी हरा मिला उसके नमूने लिए। अब जांच के बाद इसकी रिपोर्ट का सभी को इंतजार है। गंगा नदी में करीब 15-20 दिन पहले हरे शैवाल मिले थे। इसकी जांच शुरू में क्षेत्रीय अधिकारी, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा की गई। इसके बाद फिर हरे शैवाल नजर आने लगे। शैवाल मिलने के बाद जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा ने पांच सदस्यीय जांच कमेटी का गठन कर पूरे मामले में रिपोर्ट मांगी है।10 जून की शाम तक सौंपनी है रिपोर्ट
अपर नगर मजिस्ट्रेट (द्वितीय), क्षेत्रीय अधिकारी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, सहायक पुलिस आयुक्त (दशाश्वमेघ), अधिशासी अभियंता बंधी प्रखंड एवं महाप्रबंधक गंगा प्रदूषण नियंत्रण इकाई वाली टीम ने जांच शुरू की। मंगलवार को नाव से गंगा में जाकर हरे शैवाल पाए जाने के संबंध में इसके उद्गम, माध्यम तथा गंगा घाटों तक इनके पहुंचने के कारणों की जांच की गई।इस दौरान सदस्यों ने गंगा नदी में फोटोग्राफी भी कराई। जिलाधिकारी ने 10 जून की शाम तक जांच कमेटी से रिपोर्ट भी मांगी है। बताया जा रहा है कि बुधवार को भी जांच टीम एक बार फिर नाव द्वारा नदी का भ्रमण करेगी।

वाराणसी में गंगा नदी में हरे शैवाल मिलने के बाद जिला प्रशासन सतर्क हो गया है। जिलाधिकारी के निर्देश में गठित टीम ने मंगलवार को खिड़किया घाट से मिर्जापुर तक गंगा नदी में विभिन्न स्थानों पर जहां-जहां पानी हरा मिला उसके नमूने लिए। अब जांच के बाद इसकी रिपोर्ट का सभी को इंतजार है। 

गंगा नदी में करीब 15-20 दिन पहले हरे शैवाल मिले थे। इसकी जांच शुरू में क्षेत्रीय अधिकारी, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा की गई। इसके बाद फिर हरे शैवाल नजर आने लगे। शैवाल मिलने के बाद जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा ने पांच सदस्यीय जांच कमेटी का गठन कर पूरे मामले में रिपोर्ट मांगी है।

अपर नगर मजिस्ट्रेट (द्वितीय), क्षेत्रीय अधिकारी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, सहायक पुलिस आयुक्त (दशाश्वमेघ), अधिशासी अभियंता बंधी प्रखंड एवं महाप्रबंधक गंगा प्रदूषण नियंत्रण इकाई वाली टीम ने जांच शुरू की। मंगलवार को नाव से गंगा में जाकर हरे शैवाल पाए जाने के संबंध में इसके उद्गम, माध्यम तथा गंगा घाटों तक इनके पहुंचने के कारणों की जांच की गई।इस दौरान सदस्यों ने गंगा नदी में फोटोग्राफी भी कराई। जिलाधिकारी ने 10 जून की शाम तक जांच कमेटी से रिपोर्ट भी मांगी है। बताया जा रहा है कि बुधवार को भी जांच टीम एक बार फिर नाव द्वारा नदी का भ्रमण करेगी।