सुमित शर्मा, कानपुरबिधनू ब्लॉक के पिपरगवां गांव में बूथ नंबर 186 पर कड़ी सुरक्षा के बीच दोबारा पंचायत चुनाव के लिए मतदान किया जा रहा है। पूरे गांव को छावनी में तब्दील कर दिया गया है। बीते 15 अप्रैल को प्रधान प्रत्याशी के समर्थकों ने पीठासीन अधिकारी पर फर्जी वोटिंग कराने का आरोप लगाया था। समर्थकों ने बूथ नंबर 186 में घुस कर पीठासीन अधिकारी समेत पोलिंग पार्टी की जमकर पिटाई की थी। इसके बाद मतपेटी को पानी से भर दिया था। निर्वाचन अधिकारी ने बूथ नंबर 186 पर 21 अप्रैल को दोबारा मतदान कराने का आदेश दिया था।मतदान स्थल पर बवाल के बाद बिधनू पुलिस ने प्रधान प्रत्याशी के तीन समर्थकों को नामजद और एक दर्जन अज्ञात के खिलाफ गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज किया था। पुलिस ने तीनों नामजद आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा दिया है। बुधवार को बूथ नंबर 186 में 750 मतदाता अपने मताधिकार प्रयोग कर रहे है। पिपरगंवा गांव की गिनती अतिसंवेदनशील पोलिंग सेंटर में होती है। यदि बीते 15 अप्रैल को समय पर भारी फोर्स नहीं पहुंचता, बवाल बढ़ सकता था।क्यों हुआ था बवालपिपरगवां स्थित माध्यमिक विद्यालय में मतदान के लिए दो बूथ बनाए गए थे। गांव की प्रत्याशी शशि देवी और ऊषा सिंह के समर्थक विनोद शुक्ला और संतोष सिंह भदौरिया बड़ी संख्या में भीड़ लेकर बूथ नंबर 186 में घुस गए थे। समर्थकों ने पीठासीन अधिकारी इमरान आलम अंसारी पर आरोप लगाया था कि कार चुनाव चिह्न पर पेन से निशान लगाकर मतपत्र दे रहे थे। इस बात पर हंगामा शुरू कर दिया था।पीठासीन अधिकारी इमरान आलम अंसारी ने समर्थकों को समझाने का प्रयास किया था कि मतपत्र में पेन की इंक लगी हुई है। लेकिन गुस्साए समर्थकों ने उनकी बात नहीं सुनी थी और पीठासीन अधिकारी को पीटना शुरू कर दिया। इसके बाद अन्य मतदान कर्मियों की भी पिटाई शुरू कर दी थी। प्रधान समर्थकों ने मतपेटी में डाल दिया था।
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