मंगलवार रात हुई तेज बारिश और बुधवार को दिनभर खराब मौसम के बीच स्र्क-स्र्क हो रही बारिश के कारण खरीदी केंद्रों में खुले आसमान के नीचे रखे तीन अरब 75 करोड़ का धान भीग गया है। जिला सहकारी केंद्रीय बैंक और मार्कफेड के अफसराें की लापरवाही कहें या फिर राज्य शासन के दिशा निर्देशाें की अवहेलना। खुले आसमान के नीचे धान को बारिश से बचाने के लिए कैप कवर भी नहीं ढंका गया।
जिला सहकारी केंद्रीय बैंक ने किसानों का धान समर्थन मूल्य पर खरीदने के लिए 128 खरीदी केेंद्र की स्थापना की थी। इसके जरिए 468405.33 क्विंटल धान की खरीदी हुई है। शासन के नियमों पर गौर करें तो खरीदी केंद्र में एक हजार क्विंटल धान जमा होने की स्थिति में तत्काल संग्रहण केंद्रों के लिए परिवहन करना था।
इसके बाद धान खरीदी करनी थी। समिति प्रभारी धान खरीदते रहे, लेकिन परिवहन की तरफ ध्यान नहीं दिया। नतीजा ये हुआ कि केंद्रों में धान डंप होने लगा। खरीदी के बाद आजतक संग्रहण केंद्रों के लिए उठाव नहीं हो पाया है। राइस मिलर्स भी धान का उठाव नहीं कर रहे हैं। मंगलवार को रात में हुई तेज बारिश और बुधवार को पूरे दिन खराब मौसम के बीच स्र्क-स्र्क हुई बारिश के कारण खरीदी केंद्रों में खुले आसमान के नीचे रखे धान पूरी तरह भीग गया है।
More Stories
CBSE Exam 2025: इस तारीख से शुरू होगी CBSE 10वीं-12वीं बोर्ड परीक्षा, छत्तीसगढ़ में इतने स्टूडेंट्स देंगे एग्जॉम
Ramvichar Netam: छत्तीसगढ़ के कैबिनेट मंत्री रामविचार नेताम सड़क हादसे में घायल, ग्रीन कॉरिडोर से लाया जा रहा रायपुर
Raipur: झूठे आरोपों से तंग आकर ऑटो मैकेनिक ने घर में फांसी लगाकर कर ली खुदकुशी, सुसाइड नोट में सामने आई ये बात