राष्ट्रीय योजना की तरह राज्य के हितग्राहियों के लिए मांगा आबंटन
भगत ने बताया कि प्रदेश में राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के तहत 51.50 लाख राशन कार्डधारियों के अलावा राज्य योजना के तहत लगभग 14 लाख 10 हजार अतिरिक्त राशन कार्डधारियों को राज्य शासन द्वारा स्वयं के व्यय पर खाद्यान्न उपलब्ध कराया जा रहा है। भगत ने राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के अंतर्गत आने वाले हितग्राहियों के सामान ही राज्य योजना के राशनकार्डधारी हितग्राहियों को भी जुलाई, अगस्त एवं सितम्बर में निशुल्क खाद्यान्न का आबंटन उपलब्ध कराने का अनुरोध किया। उन्होंने कहा कि लॉकडाउन के दौरान राज्य में 73 हजार से अधिक नवीन राशनकार्ड बनाए गए हैं। इन राशनकार्डोँ को भी राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के अंतर्गत मान्य किया जाए। मंत्री भगत ने पासवान को छत्तीसगढ़ का केन्द्रीय पूल में चावल 24 लाख मीट्रिक टन से बढ़ाकर 28.1 लाख मीट्रिक टन करने पर राज्य की जनता की ओर से धन्यवाद दिया। बैठक में खाद्य विभाग के सचिव डॉ. कमलप्रीत सिंह सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे।
छत्तीसगढ़ में अगस्त से वन नेशन वन राशनकार्ड का सिस्टम लागू हो जाएगा। गरीब परिवारों के लिए निशुल्क खाद्यान्न तीन माह और बढ़ाने का अनुरोध केंद्र सरकार से किया गया है। प्रवासी श्रमिकों को जुलाई में भी मुफ्त चावल मिलेगा। केन्द्रीय खाद्य मंत्री रामविलास पासवान ने कहा कि छत्तीसगढ़ का पीडीएस सिस्टम देश में अव्वल है।
खाद्य मंत्री अमरजीत भगत ने गुरुवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से केन्द्रीय खाद्य मंत्री पासवान से चर्चा की। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ में वन नेशन वन राशनकार्ड योजना अगस्त से शुरू की जाएगी। उन्होंने केन्द्रीय खाद्य मंत्री से राज्य के बीपीएल परिवारों को जुलाई से सितम्बर तक कुल तीन महीने का खाद्यान्न निशुल्क देने के लिए छत्तीसगढ़ को आबंटन दिए जाने का आग्रह किया। खाद्यमंत्री ने केन्द्रीय मंत्री से प्रवासी श्रमिकों को भी जुलाई में मुफ्त खाद्यान्न देने का भी अनुरोध किया। खाद्यमंत्री ने बताया कि वर्तमान में छत्तीसगढ़ के प्रवासी श्रमिकों को मई एवं जून का निशुल्क खाद्यान्न दिया जा रहा है। पासवान ने छत्तीसगढ़ में सार्वजनिक वितरण प्रणाली की पारदर्शिता की सराहना की। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ का पीडीएस सिस्टम पूरे देश में अव्वल एवं अनुकरणीय है। केन्द्रीय खाद्य मंत्री ने बताया कि प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना के तहत तीन महीने के लिए निशुल्क खाद्यान्न आबंटन एवं प्रवासी श्रमिकों को जुलाई में भी निःशुल्क खाद्यान्न देने का प्रस्ताव विचाराधीन है। पासवान ने हर संभव सहयोग का भरोसा दिलाया है। भगत ने कहा कि कोरोना वायरस के संक्रमण से सुरक्षा के लिए किए गए लॉकडाउन के कारण देश के अन्य राज्यों में फंसे प्रवासी व्यक्ति एवं श्रमिक वापस छत्तीसगढ़ आ रहे हैं। इन प्रवासियों को प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत निशुल्क खाद्यान्न मई और जून में दिया गया है। भगत ने इन प्रवासी श्रमिकों को जुलाई में भी निशुल्क चावल देने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि भारत सरकार द्वारा छत्तीसगढ़ में राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के अंतर्गत 51.50 लाख राशन कार्डधारियों को अप्रैल, मई एवं जून में निशुल्क खाद्यान्न आबंटन उपलब्ध कराया गया है।
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