रायपुर : जनता में विश्वास कायम करना हमारी सबसे बड़ी उपलब्धि : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय

मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने कहा है कि हमारी सबसे बड़ी चुनौती जनता में विश्वास को कायम करने की थी। अब अपनी सरकार के एक वर्ष पूर्ण होने पर…

मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने कहा है कि हमारी सबसे बड़ी चुनौती जनता में विश्वास को कायम करने की थी। अब अपनी सरकार के एक वर्ष पूर्ण होने पर मुझे यह बताते हुए संतोष हो रहा है कि ‘मोदी की गारंटी’ के रूप में किए सभी बड़े वादों को पूरा कर हमने जनता के विश्वास को कायम रखा है। श्री साय आज सरकार के एक वर्ष पूर्ण होनेे के उपलक्ष्य में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में मीडिया प्रतिनिधियों को स्थानीय न्यू सर्किट हाउस में संबोधित कर रहे थे।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि 13 दिसम्बर को हमारी सरकार का पहला साल पूरा हो रहा है। विगत एक वर्ष में छत्तीसगढ़ प्रदेश ने विकास के अनेक नये आयाम स्थापित किए हैं। हमने बीते एक साल को विश्वास का वर्ष घोषित किया है। वास्तव में प्रदेश में पूर्ववर्ती सरकार के पांच वर्ष का समय विश्वास के संकट का समय था। पूर्ववर्ती सरकार ने ‘जन घोषणा पत्र’ में किए गए लगभग सभी वादों से मुकरते हुए न केवल प्रदेश के लिए बल्कि पूरे लोकतंत्र के लिए ही भरोसे का संकट पैदा कर दिया था।मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि हमारी सबसे बड़ी चुनौती जनता में इस विश्वास को कायम करने की थी। अब एक वर्ष पूरे होने पर जब आपके माध्यम से जनता के समक्ष हमारी पूरी सरकार रिपोर्ट कार्ड लेकर प्रस्तुत हुई है, तो मुझे यह बताते हुए संतोष हो रहा है कि ‘मोदी की गारंटी’ के रूप में किए सभी बड़े वादों को पूरा कर हमने इस विश्वास की बहाली की है। हमें प्रदेश की महतारी-बहनों को, किसानों को, युवाओं को, आवास से वंचित कर दिए गए कमजोर वर्ग के लोगों से किए वादे को पूरा करने का सौभाग्य प्राप्त हुआ है।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि विधानसभा चुनाव के दौरान हमारी सरकार ने प्रदेश के नागरिकों से वादा किया था कि यदि हमारी सरकार बनी तो हम प्रदेश में सुशासन की स्थापना करेंगे। भ्रष्टाचार मुक्त और पारदर्शी व्यवस्था स्थापित करेंगे। सरकार बनते ही हमने भ्रष्टाचार के खिलाफ तत्परता के साथ कार्यवाही की। जो लोग भ्रष्टाचार के मामलों में लिप्त पाए जा रहे हैं, उन्हें जेल भेजा जा रहा है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि इस वर्ष हमारा सारा ध्यान जनता के विश्वास को बहाल करने पर था। अब इसी विश्वास की नींव पर छत्तीसगढ़ के विकास और समृद्धि रूपी शिखर का निर्माण करना है। हम छत्तीसगढ़ को विकसित बना कर भारत के यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदीजी के विकसित भारत के संकल्प को सिद्ध करने में योगदान देने परिश्रम की पराकाष्ठा कर दिन-रात जुटे रहेंगे। आगामी 1 नवंबर 2025 को हम प्रदेश स्थापना की रजत जयंती मनाएंगे। हमने वर्ष 2028 तक प्रदेश की जीडीपी को दस लाख करोड़ तक पहुंचाने का लक्ष्य रखा है।

किसानों, गरीबों और महिलाओं से वादा पूरा

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि हमने किसानों से किया गया वादा पूरा करते हुए 3100 रुपए प्रति क्विंटल की दर और 21 क्विंटल प्रति एकड़ के मान से धान की रिकॉर्ड खरीदी की। हमने अपने वादे के मुताबिक किसान बंधुओं को दो साल के बकाया धान बोनस की राशि 3716 करोड़ रुपए का अंतरण भी किया। उन्होंने कहा कि प्रदेश की माताओं-बहनों से किए गए वादे को पूरा करते हुए तीन माह के भीतर ही महतारी वंदन योजना शुरू की गई। इसका लाभ 70 लाख माताओं-बहनों को मिल रहा है। अब तक इस योजना की 10 किश्तों में 6530 करोड़ रुपए अंतरित किए जा चुके हैं। उन्होंने कहा कि जरूरतमंद परिवारों के लिए 18 लाख प्रधानमंत्री आवास उपलब्ध कराने के अपने वादे को पूरा करने के लिए सरकार बनने के दूसरे ही दिन कैबिनेट की बैठक में निर्णय लिया गया। तेन्दूपत्ता संग्रहण दर 4 हजार रुपए मानक बोरा से बढ़ाकर 5 हजार 500 रुपए मानक बोरा कर दी गई है।

पीएससी पर लौटा युवाओं का विश्वास

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि राज्य में नई शिक्षा नीति लागू करके शिक्षा को रोजगार परक बनाया है। राज्य की प्रतिभाओं को निखारने के लिए रायपुर के नालंदा परिसर की तर्ज पर प्रदेश की 13 नगरीय निकायों में हाईटेक लाइब्रेरियों के निर्माण का निर्णय लिया गया है। अपने वादे के मुताबिक हमने सीजीपीएससी परीक्षा प्रणाली को बेहतर बनाया है। पूरी पारदर्शिता के साथ परीक्षाएं हुई और उनके परिणाम घोषित हुए। इससे राज्य की प्रतिभाओं का विश्वास सीजी पीएससी पर लौट आया है। हमने प्रदेश के 68 लाख गरीब परिवारों को पांच साल तक मुफ्त राशन देने की योजना शुरू की।इस तरह हमने यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी की अधिकांश गारंटियों को एक साल के भीतर ही पूरा कर दिया है।

सुशासन की स्थापना

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि हमारी सरकार सुशासन की स्थापना के लिए प्रयासरत है। इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए हमने सुशासन एवं अभिसरण नाम से नया विभाग बनाया है। हमारा प्रयास है कि आम नागरिकों को छोटे छोटे कामों के लिए दफ्तरों के चक्कर न काटने पड़े। इसके लिए हम तकनीक का ज्यादा से ज्यादा इस्तेमाल कर रहे हैं। एक क्लिक में अथवा एक फोन कॉल में उनके काम हो जाने चाहिए। छत्तीसगढ़ राज्य निर्माता, पूर्व प्रधानमंत्री, भारत रत्न स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी जी के सुशासन के सपने को हम लगातार साकार कर रहे हैं। पुराणों में जिसे राम-राज कहा गया है, उसे ही हम सुशासन कहते हैं।

जनजातीय क्षेत्रों में नई सुविधाएं

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि हमने जनजातीय क्षेत्रों में सड़क, रेल और हवाई सुविधाओं का विस्तार किया गया है। अम्बिकापुर के हवाई अड्डे से भी अब हवाई सेवा की शुरूआत हो गई है। अनुसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति और अन्य पिछड़ा वर्ग के विकास के लिए गठित प्राधिकरणों में जनप्रतिनिधित्व को और मजबूत किया गया है। साथ ही छत्तीसगढ़ जनजातीय सलाहकार परिषद का गठन भी किया गया है।

बैगा, गुनिया, सिरहा के लिए सम्मान निधि

जनजातीय गौरव दिवस के अवसर पर हमने राज्य के बैगा, गुनिया, सिरहा को सालाना पांच-पांच हजार रुपए की सम्मान निधि देने की घोषणा की है।जनजातीय गांवों में अखरा निर्माण विकास योजना शुरू की गई है। जनजातीय स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों तथा नायकों की स्थान-स्थान पर प्रतिमाएं लगाने का निर्णय भी हमने लिया है।

बस्तर में पर्यटन सुविधाओं का विकास

बस्तर में पर्यटन कॉरिडोर का निर्माण किया जा रहा है। यह बड़ी उपलब्धि है कि कांगेर घाटी के गांव धुड़मारास ने अब विश्व पर्यटन के नक्शे पर जगह बना ली है। संयुक्त राष्ट्र विश्व पर्यटन संगठन ने इस गांव में पर्यटन के विकास के लिए इसे दुनिया के चुनिंदा 20 गांवों में शामिल किया है। गुरू घासीदास-तमोर पिंगला टाइगर रिजर्व के गठन से भी राज्य में पर्यटन के विकास की संभावनाओं को बल मिला है। सरगुजा में मधेश्वर पहाड़ को विश्व की सबसे बड़ी प्राकृतिक शिवलिंग के रूप में मान्यता मिली है।

श्री रामलला दर्शन योजना

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि छत्तीसगढ़ के साथ भगवान राम का गहरा नाता है। वे हमारे भांजे हैं। उन्होंने वनवास के 14 सालों में से 10 साल यहीं गुजारे। हमारी कोशिश है कि दुनिया भगवान श्रीराम से हमारे इस रिश्ते को जानें। प्रदेश में श्री रामलला दर्शन योजना शुरू करके हमने यहां के श्रद्धालुओं के लिए अयोध्या धाम की निःशुल्क यात्रा की व्यवस्था की, ताकि भगवान राम से अपने रिश्ते को और सघन कर सकें।

रोजगार परक औद्योगिक नीति

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि हमारी नई उद्योग नीति से राज्य के औद्योगिक क्षेत्र में भी विकास की नई संभावनाओं का सृजन हुआ है। यह नीति प्रदेश की अर्थव्यवस्था को मजबूत करेगी। हमने इस नीति को रोजगार परक बनाया है। नई उद्योग नीति में युवाओं को स्वरोजगार के लिए प्रोत्साहित किया गया है। हमने पर्यटन को भी उद्योग के रूप में शामिल किया गया है। साथ ही सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग को भी रियायत देने का विशेष प्रावधान है। नयी उद्योग नीति में अनुसूचित जाति और जनजाति, महिला उद्यमियों, सेवानिवृत्त अग्निवीर, भूतपूर्व सैनिकों, नक्सल प्रभावित, आत्मसमर्पित नक्सलियों एवं तृतीय लिंग के उद्यमियों को विशेष प्रोत्साहन दिये जाने का प्रावधान है।

नक्सल उन्मूलन में तेजी

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि पिछले एक वर्ष के दौरान प्रदेश में नक्सलवाद का तेजी से उन्मूलन किया गया है। केंद्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह ने मार्च 2026 तक छत्तीसगढ़ से नक्सलवाद का पूरी तरह सफाया करने का संकल्प लिया है। बीते एक वर्ष में 213 नक्सलियों को मुठभेड़ में मार गिराया गया है। करीब 1750 नक्सलियों को या तो आत्मसमर्पण करने पर मजबूर किया गया है, या फिर उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया है।

विकास की किरणें दूरस्थ गांवों तक

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि हमारी एक बड़ी कामयाबी यह भी है कि हम नियद ‘नेल्ला नार योजना’ के माध्यम से बस्तर के अंदरूनी गांव तक लोकतंत्र और विकास की किरणों को पहुंचाने में सफल हुए। अभी हाल ही मैंने बस्तर के सुरक्षा कैंप में जवानों के साथ रहा, जो मेरे जीवन का सबसे सुखद अनुभव था। जवानों का बढ़ा हुआ हौसला और आत्मविश्वास देखकर मैंने भी अपने भीतर नयी ऊर्जा का महसूस की है।

डबल इंजन की सरकार से विकास की रफ्तार हुई तेज

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि प्रदेश में डबल इंजन की सरकार होने से एक साल में राज्य ने बहुत तेजी से प्रगति की है। केन्द्र से हमें भरपूर सहयोग और समर्थन मिला है। इस दौरान 31 हजार करोड़ रुपए की सड़क परियोजनाएं छत्तीसगढ़ के लिए स्वीकृत की गई है। दो सालों में छत्तीसगढ़ में सड़कों का मजबूत नेटवर्क होगा। साथ ही रेल नेटवर्क को मजबूत करने के लिए हमें केन्द्र से अनेक महत्वपूर्ण रेल लाइनों की स्वीकृति प्राप्त हुई है। उन्होंने कहा कि राज्य में चार मेडिकल कॉलेजों के भवनों के निर्माण की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। जांजगीर-चांपा, कबीरधाम, मनेन्द्रगढ़ और गीदम मेडिकल कॉलेजों की निर्माण के लिए 1020 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है।

सरकार के काम-काज पर जनता की मुहर

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि अभी हाल ही में प्रदेश में हुए उपचुनाव का जो परिणाम आया है, उससे यह बात पूरी तरह स्पष्ट है कि हम प्रदेश के नागरिकों की उम्मीदों पर खरा उतरे हैं।राजधानी में प्रदेश के हर कोने से लोग रहते हैं, अतः यह एक तरह से हमारी सरकार के कामकाज पर जनता की मुहर है।

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