पर प्रकाश डाला गया
- मौसेरे और साधु भाई ने शराबी भाई से साक्षात्कार में खोफनाक विश्व को दिया था अंजाम
- अपराधी शव और कटे हुए सिर के साथ चाकू और भालू को शव पर ही छोड़ कर भाग गए।
- इस अनियमितता ने पुलिस के जाल में फंसाया।
नईदुनिया प्रतिनिधि,जशपुरनगर। दिल दहला देने वाली यह घटना छत्तीसगढ़ के जशपुर जिले के कुनकुरी थाना क्षेत्र श्रीटोली गांव के चुराहागाड़ा जंगल की है। अंधेरी कांड के राजफाश में एसपी शशि मोहन सिंह ने बताया कि 12 अगस्त को पुलिस को सूचना मिली थी कि चुराहागा के जंगल में एक सिर कटी की मौत हो गई है।
सूचना पर सलाह अनिल सोनी और ज्वालामुखी विजय सिंह राजपूत दल बल के साथ संयुक्त राज्य अमेरिका। इस मामले में हत्याकांड की उलझी हुई गुत्थी को साजिश के लिए एसपी शशि मोहन सिंह ने अधिकारियों को सूक्ष्म जांच से जांच करने का निर्देश दिया। जांच टीम ने घटना स्थल से नाइलॉन का जूता और लोहा का चाकू बरामद किया था। शव की जांच के लिए पुलिस ने इंटरनेट मीडिया का सहारा लिया। शव की तस्वीर पहचान की अपील के साथ प्रसारित की गई। मृतक के शव और शव पर मृतक की पहचान कांसाबेल थाना क्षेत्र के बरजोर निवासी अभिषेक लकड़ा के रूप में की गई।
हत्या के इस मामले में गुप्तचर के लिए जांच टीम ने मृतकों के रिश्तेदारों और परिचितों से पूछताछ की। पूछताछ के दौरान 11 सितंबर को मृतक अभिषेक लकड़ा के अपराधी अभय एक्का 30 वर्ष, संदीप एक्का 41 वर्ष, निर्देश तिर्की, 35 वर्ष और अनूप लकड़ा 30 वर्ष के साथ अंतिम बार देखने की बात सामने आई। संदेह के आधार पर इन तथ्यों के आधार पर लेकर पुलिस ने पूछताछ की तो मिशेल ने अभिषेक करते हुए लकड़ा की हत्या का अपराध स्वीकार कर लिया जो कहानी बताता है कि वह दिल दहलाने वाली है।
पुलिस से क्राइम शो देख कर बनाया यंत्र
पालतू पशु चिकित्सालय लकड़ा ने पुलिस को बताया कि मृतक अभिषेक उसका मौसेरा भाई था। शराब पी कर अभिषेक एक दिन घर में आ गया और टॉयलेट और ग्लाउच किया गया। 10 सितंबर को इसी तरह के एक विवाद के दौरान मृतक अभिषेक लकड़ा, शराब के नशे में धुत आरोपी अभय के माता-पिता को जेल में डाल कर जिंदा कर रहा था। अभय ने जब उस पर रोक लगाने का प्रयास किया तो अपराधी अपराधी से भी उलाहना दिया गया। अनाथ के दौरान अभय ने लकड़ी से युद्ध कर अभिषेक के पैर को तोड़ दिया था। पुलिस वाले केस के डर से उसे अभय अस्पताल ना ले जा कर घर में रखा गया था। अपराधी का कहना है कि पुलिस केस से भागने और शराबी भाई से मिलने के लिए उसने अभियोग की हत्या करने की योजना बनाई।
हत्या के बाद पुलिस से बचने के लिए उसने टीवी शो क्राइम पेट्रोल का सहारा लिया। अपने तीन दोस्तों के साथ मिलकर विचार करते हुए कहा कि अभिषेक की हत्या करके उसके सिर और धड़ को अलग जगह पर फंसा दिया जाए ताकि पुलिस उसकी पहचान न कर सके। तय योजना के अनुसार 11 सितंबर की रात करीब 2 बजे वैद्य से पैर का इलाज कराने की बात कही गई, जिसमें मारुति वेन रिपब्लिक एमपी 05 बीसी 1729 में बेथाई ली गई।
मैथ्यू ने अभिषेक की हत्या के लिए चाकू और नायलोन के बच्चे को पहले ही कार में रख दिया था। अभियुक्त अभियोग को श्रीटोली रोड किनारे रोके और वेन से नीचे उतर कर नायलोन की किशोरावस्था की सहायता से गला घोंट कर उसकी हत्या कर दी गई। मृत्यु की पहचान के लिए स्मारक ने मिल कर स्टूडियो से अभिषेक का गला काट दिया,सर को धड़ से अलग कर दिया।
हडबडा में हो गई थी साॅटल और लाॅक के मकान में फंसी बंदरबाड़ा
शहरीअभ्यारण्य ने पुलिस को बताया कि अभिषेक की हत्या और उसके सिर को पीटने से पहले, सब कुछ उनकी योजना के अनुसार ही हो रहा था। फ़ोर्थ ने मिल कर धड़ को ख़ानदानते हुए जंगल के 50 मीटर अंदर तक ले जा कर फेंक दिया। लेकिन इस दौरान मृतक का सिर जंगल में कहीं धूल कर गोंद हो गया। घटना स्थल पर घना जंगल और अँधेरा होने के कारण,खोजने पर भी मृतक के सिर की पुष्टि नहीं हुई। सुबह होने और किसी के आ जाने के डर से दोषी शव और कटे हुए सिर के साथ चाकू और भालू को माशूक पर ही छोड़ कर भाग गए। हदउदी में हुई इस गड़बड़ी ने पुलिस की जाल में फंसा दिया चार लोगों को…
परिवार वालों को भी अनाड़ी बनाया
हत्या की इस धमकीनाक घटना को अंजाम घर वापस जाना, बेइज्जती अभय ने अभिषेक के साथ ना आने को लेकर अनादर किया था। एसपी सिंह ने बताया कि अभय ने अपने स्वजन को बताया था कि वैद्य के पास उपचार की इच्छा के बाद अपने पिता के पास रहने के लिए राजस्थान का दौरा किया गया था। लेकिन चौथे की कोई चाल सफल नहीं हो सकी। सभी आरोपी अभय एक्का 30 वर्ष,संदीप एक्का 41 वर्ष,निर्देश तिर्की,35 वर्ष और अनूप लकड़ा 30 वर्ष को गिरफ़्तार कर पुलिस ने नासिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया है। चारो अपराधी बरजोर के डुमरटोली में रहने वाले हैं। इस लोमहर्षक हत्याकांड में मृत अभय अभिषेक का मौसेरा भाई शामिल है, वहीं अनुप लकड़ा सागा भाई और असंगत लकड़ा आपस में पड़ोसी हैं।