
अभिनेता रणवीर सिंह विवादों में घिर गए हैं। उन पर सुपरहिट फिल्म ‘कंतारा चैप्टर 1’ के क्लाइमेक्स में ऋषभ शेट्टी द्वारा निभाए गए चावुंडी दैवी के किरदार की नकल करने का आरोप लगा है।
बेंगलुरु के वकील प्रशांत मेटल ने गोवा में 28 नवंबर को आयोजित भारतीय अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव (IFFI) में रणवीर सिंह के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई है। रणवीर ने यहां उल्लालथी दैवी के रूप में ऋषभ शेट्टी के अभिनय की हूबहू नकल की थी।
शिकायत में कहा गया है कि रणवीर के इस कृत्य को “अवैध और आपत्तिजनक” बताया गया है, जिससे “लाखों हिंदुओं, विशेषकर कर्नाटक के तुलु-भाषी समुदाय की भावनाओं को ठेस” पहुंची है। हाई ग्राउंड्स पुलिस स्टेशन में भारतीय न्याय संहिता (BNS), 2023 की धारा 299, 302 और 196 के तहत शिकायत दर्ज की गई है।
वकील ने यह भी आरोप लगाया है कि IFFI के समापन समारोह में अपने संबोधन के दौरान रणवीर ने उल्लालथी दैवी के बारे में अपमानजनक टिप्पणियां की थीं। यह मामला व्यापक आलोचना के बाद रणवीर द्वारा सार्वजनिक माफी मांगे जाने के एक दिन बाद सामने आया है।
रणवीर ने माफी मांगते हुए कहा, “मेरा इरादा ऋषभ के अविश्वसनीय प्रदर्शन को उजागर करना था। एक अभिनेता के तौर पर, मैं जानता हूं कि उस खास सीन को उस तरह से निभाने में कितनी मेहनत लगती है, जिसके लिए वह मेरे दिल से प्रशंसा के पात्र हैं। मैंने हमेशा अपने देश की हर संस्कृति, परंपरा और विश्वास का गहरा सम्मान किया है। अगर मैंने किसी की भावनाओं को आहत किया है, तो मैं ईमानदारी से माफी मांगता हूं।”
**दैव पूजा और इसका पवित्र महत्व समझना**
‘कंतारा’ फिल्मों ने दैवी पूजा पर व्यापक ध्यान आकर्षित किया है, जो कर्नाटक के तटीय तुलुनाडु क्षेत्र में निहित एक सदियों पुरानी आध्यात्मिक प्रथा है। स्थानीय रूप से इसे ‘धैवराराधने’ के नाम से जाना जाता है, यह परंपरा तुलु समुदाय के लिए गहरा धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व रखती है। इसमें अनुष्ठानों और औपचारिक नृत्यों के माध्यम से दिव्य आत्माओं का आह्वान किया जाता है, जो मानव और आध्यात्मिक दुनिया के बीच एक सेतु का काम करती है।
‘कंतारा’ में, दैवी को एक पूजनीय दिव्य इकाई के रूप में चित्रित किया गया है। पात्रों के दैवी के वश में होने के दृश्य, अनुष्ठान की तीव्रता को दर्शाने के लिए गढ़े गए हैं, जो इसके आध्यात्मिक शक्ति और चिकित्सकों तथा भक्तों के लिए गहरी भावनात्मक अनुगूंज दोनों को उजागर करते हैं।
**कंतारा चैप्टर 1: तुलुनाडु की रहस्यमयी परंपराओं की एक झलक**
‘कंतारा चैप्टर 1’ गुलिगा दैवी और भूत कोला के अनुष्ठान के समृद्ध इतिहास की पड़ताल करता है, जो दर्शकों को तुलुनाडु की रहस्यमयी परंपराओं से परिचित कराता है। फिल्म की कहानी एक न्यायप्रिय राजा और उसकी बहन कनकवथी द्वारा शासित राज्य में स्थापित है, जबकि भयंकर वन योद्धा बर्ने विरोधी ताकतों का नेतृत्व करता है। उनके संघर्षों के माध्यम से, फिल्म लोककथाओं, भक्ति और शक्ति को जोड़ती है, और इन प्राचीन अनुष्ठानों को स्क्रीन पर जीवंत करती है।




