३१ अक्टूबर २०२०
मुस्लिम तुष्टिकरण की निति के कारन ही स्वतंत्रता के पूर्व मुस्लिन\म लीग की स्थापना जिन्ना ने की थी. प्रधानमंत्री बनाने की लालसा ने ही भारत का विभाजन नेहरू ने कस्वीकार किया था. वही रास्ता सोनिया जी अपना रही हैं ,पुत्र मोह में राहुल जी को पधानमंत्री बनाने के लिए. इसीलिए राहुल ने वायनाड से चुनाव मुस्लिम लीग की लड़ा था. प्रियंका गाँधी की टिपण्णी से यही स्पस्ट होता है।
अमेरिका में राहुल गांधी ने कहा था भारत में लश्कर से ज्यादा खतरा हिन्दू आतंकवाद से है। यू पी ए शासनकाल के दो गृहमंत्रियों चिदंबरम और शिंदे ने हिन्दू आतंकवाद की शोध की थी और उसके लिए कांग्रेस ने उन्हें डॉक्टरेट की उपधि दी होगी ? उसी वोटबैंक पॉलिटिक्स और तुष्टिकरण की नीति का ही खुनी परिणाम 3 बीजेपी कार्यकर्ताओं की कायर्तापूवक हुई हत्या है, जिम्मेदारी लश्कर के चाइल्ड टी आर फ़ ने ली है।
इसी वर्ष मार्च महीने में दो नए आतंकी संगठन का गठन हुआ जिनमें एक टीआरएफ और दूसरा तहरीक-ए-मिल्लत-ए-इस्लामी (टीएमआई) है। सुरक्षा एजेंसियों के सूत्रों के मुताबिक, टीआरएफ पाकिस्तान समर्थित आतंकी संगठन लश्कर-ए-तयैबा का ही फ्रंटल ऑर्गनाइजेशन है। सुरक्षा एजेंसी से जुड़े एक सीनियर अधिकारी ने कहा कि हर साल मार्च-अप्रैल के बीच इस तरह के नए संगठन सामने आते हैं जो कुछ ही महीनों में फिर गायब हो जाते हैं। यह संगठन कोई नए आतंकी संगठन नहीं होते बल्कि जो मौजूदा आतंकी संगठन हैं, उनके ही लोग अलग-अलग नाम से ग्रुप बना लेते हैं। इनका मकसद दूसरे आतंकी संगठनों के लोगों को तोड़कर अपने साथ शामिल करना होता है
सीरिया से जान बचा कर भागे मुस्लिम शरणार्थी फ्रांस में सबसे ज्यादा थे लेकिन आज वही नमक हरामी पर उतर आए , और बेसर्मी की हद अन्या मुस्लिम मुल्क ही फ्रांस का विरोध कर रहे हैं।
फ्रांस में एक हफ्ते के भीतर अबतक 4 फ्रेंच नागरिकों की ह्त्या की जा चुकी है, एक ने पैगंबर मोहम्मद का कार्टून दिखाने पर शिक्षक का सर कलम कर दिया तो एक ने अल्लाह-हु-अकबर चिल्लाते हुए चर्च में घुसकर एक महिला का गला रेता और दो लोगों की चाकू से मारकर ह्त्या कर दी, इन दोनों घटनाओं को फ्ऱांस के राष्ट्रपति इम्मैन्युअल मैक्रों ने इस्लामिक आतंकवाद करार दिया है. साथ ही उन्होंने इस्लामिक आतंकवाद के विरुद्ध जंग भी छेड़ दी है, भारत ने भी फ्रांस का समर्थन करने का ऐलान किया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट कर फ्रांस में हुई वीभत्स घटनाओं की न सिर्फ निंदा की बल्कि आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में फ्रांस का साथ देने का ऐलान भी किया। हालाँकि कांग्रेस पार्टी को इससे कोई फर्क नहीं पड़ा, कांग्रेस के विधायक आरिफ मसूद ने हजारों मुस्लिमों के साथ फ्रांस के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया।
मध्यप्रदेश के भोपाल से कांग्रेस विधायक आरिफ मसूद ने कहा कि फ्रांस के राष्ट्रपति ने भारत में रह रहे मुस्लिमों को आहत किया है, इसलिए भारत के प्रधानमंत्री को या निर्णय लेना चाहिए कि फ्र ांस से अब हमें आयात-निर्यात बंद कर दिया जाए. इस दौरान इकबाल मैदान में भारी संख्या में मुस्लिम समाज के लोग पहुंचे. हालाँकि आरिफ मसूद बिना बने कांग्रेस नेताओं की सहमति से विरोध प्रदर्शन नहीं कर सकते।
कांग्रेस विधायक आरिफ मसूद ने अपने ट्विटर हैंडल से विरोध प्रदर्शन की कुछ तस्वीरों को शेयर करते हुए लिखा, फ्रांस के राष्ट्रपति द्वारा पैगंबर सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम के बारे में अपशब्द कहे जाने को लेकर मेरे द्वारा इक़बाल मैदान में कार्यक्रम किया गया जिसमें हज़ारों की संख्या में मुस्लिम समुदाय के लोगों ने अपना विरोध दर्ज कराया!
फ्रांस के खिलाफ पाकिस्तान, तुर्की और ईरान समेत कई इस्लामिक मुल्कों में विरोध प्रदर्शन हो रहा है लेकिन फ्ऱांस ने भी साफ़ कर दिया है कि वो इस्लामिक आतंकी हमले से डरेगा नहीं बल्कि दटकर मुकाबला और इस्लामिक आतंकवाद को जड़ से मिटा देगा।
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