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  Editorial: अपराध-आतंकवाद सब का हिसाब एक साथ करना जरूरी

14-9-2022

सबका हिसाब होगा, जी हां अब सबका हिसाब होगा। चाहे वो इस्लामिक आतंकी हों, चाहे वो खालिस्तानी हों या चाहे वो घर के वो भेदी हों जिनके कर्मों का फल देश को अपनी संप्रभुता पर चोट खाकर भुगतना पड़ता है। अब सरकार और उसकी एजेंसियां इस मामले में सख्ती अपना रही हैं। उनका एक मात्र ध्येय है कि किसी भी तरह का अराजक माहौल देश में बने उससे पहले ही उस पर घात कर दिया जाए।

राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने दिल्ली, राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) और उत्तर भारत के आसपास के राज्यों में सक्रिय ‘आतंकवादी गिरोहोंÓ से जुड़े तीन दर्जन से अधिक स्थानों पर छापे मारे और इस कार्रवाई ने बहुत बड़ा संदेश दे दिया कि घुसपैठ बर्दाशत नहीं की जाएगी और फिर भी की तो जान जाएगी।दरअसल, पिछले काफी समय से भारत आंतरिक रूप से स्वयं को और मजबूती प्रदान करने के लिए विभिन्न उपक्रमों को लागू कर उनका सहयोग ले रहा है पर कहीं न कहीं अब भी भारत गिद्धों के अदृश्य जाल से त्रस्त है। परिणामस्वरूप भारत में अब भी खालिस्तानी, इस्लामिक आतंकी छुप-छुपकर ऑपरेट करते हैं और उनका सहयोग करते हैं इसी ज़मीन के कुछ गद्दार। इसी को भांपते हुए एनआईए दिल्ली, एनसीआर, पंजाब, हरियाणा, राजस्थान और कई अन्य स्थानों पर ‘आतंकवादी गिरोहों की गतिविधियों के खिलाफ हाल ही में दर्ज हुए मामलों में तलाशी कर रही है। इन तत्वों में जो आम नागरिकों को आतंकित करने के लिए सनसनीखेज हत्याओं में शामिल हैं उनको पकड़ा जा रहा है।

इन गिरोहों के सदस्य अपने नापाक मंसूबों को पूरा करने के लिए जबरन वसूली, नशीली दवाओं की तस्करी और अन्य संगठित आपराधिक गतिविधियों में शामिल हैं। छापेमारी करने वालों में लॉरेंस बिश्नोई-गोल्डी बराड़ गिरोह के सदस्य और नीरज बवानिया, दविंदर बंबिहा, कौशल चौधरी, सुनील उर्फ टिल्लू ताजपुरिया, दिलप्रीत और सुखप्रीत उर्फ बुद्ध के साथ-साथ उनके प्रतिद्वंद्वी गिरोह शामिल हैं। अधिकारियों ने बताया कि फरार आतंकवादी हरविंदर रिंडा द्वारा दिल्ली, पंजाब, हरियाणा और राजस्थान में पूरा सिंडिकेट चलाया जा रहा है।

इनके ऑपरेट करने के ठिकाने जेल के अतिरिक्त इन सभी के आवासीय परिसर, जहां से ये गिरोह संचालित होते हैं और अन्य सभी स्थानों पर छापे मारे गए जो केंद्रीय आतंकवाद विरोधी जांच एजेंसी द्वारा की गई “बड़ी साजिश” जांच का हिस्सा हैं। जांच के एक हिस्से के रूप में एनआईए इन गिरोहों के पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठनों, आईएसआई और हथियार आपूर्तिकर्ताओं के साथ संबंधों की जांच करेगी, रिपोर्ट के अनुसार वे बड़े पैमाने पर राष्ट्र विरोधी गतिविधियों में शामिल हैं।एनआईए की यह कार्रवाई केंद्रीय गृह मंत्रालय से विभिन्न राज्यों में संगठित आतंकी गिरोहों के पूरे नेटवर्क को उखाड़ फेंकने की मंजूरी मिलने के कुछ दिनों बाद आयी है जिसमें वो हत्याओं, तस्करी और अन्य गैरकानूनी गतिविधियों में शामिल हैं और आतंकवादियों की तरह काम कर रहे थे। हाल ही में एनआईए ने एक डोजियर तैयार किया और इन गिरोहों के खिलाफ कार्रवाई शुरू करने के लिए गृह मंत्रालय से अनुमति ली। दिल्ली, पंजाब, हरियाणा, राजस्थान और उत्तर प्रदेश के गैंगस्टर तभी से एनआईए के रडार पर थे।

यह सत्य है कि पाक पोषित आईएस आतंकियों ने भारत पर समय-समय पर घात करने के विभिन्न षडयंत्र रचे हैं। अब इस क्रम में खालिस्तानी आतंकियों ने देश को और खतरे का भान कराया है। हाल ही में सिंगर सिद्धू मूसेवाला की हत्या के बाद तो इन गिरोहों के हौसले और बुलंद हो गए थे जिसके बाद बाहरी और आंतरिक गैंगों पर नकेल कसनी ज़रूरी हो गयी। इसी का एक भाग है यह एनआईए जांच जिससे कई गिरोहों का समूल नाश करने की योजना बनायी गयी।