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Author: Lok Shakti
कोरोना महामारी ने हमारी जीवनशैली की दिशाओं में आमूल-चूल परिवर्तन कर दिया है। कोरोना वायरस के कारण हमारी आदतें और हमारी दिनचर्या काफी हद तक बदल गई है, जिसे हम हर दिन अनुभव भी कर रहे हैं और जी भी रहे हैं। इतिहास की कई बड़ी आपदाओं के बाद सामाजिक, आर्थिक समझ और जीवनशैली में व्यापक बदलाव देखे गए हैं लेकिन कोरोना संकट के दौर ने तो सबकुछ ही बदल दिया है, हमारे खानपान और जीवन के तौर-तरीकों से लेकर हमारी कार्यशैली एवं सोचने की दिशाएं सब कुछ बदल गयी है। आने वाले समय में इन बदलावों का बड़ा असर…
कोविड-19 महामारी ने हर देश के नेतृत्व के सामने बड़ी चुनौतियां खड़ी कर दी हैं। इससे न केवल मानव जीवन का नुकसान हुआ है बल्कि विभिन्न क्षेत्रों और अर्थव्यवस्थाओं को भी नुकसान हुआ है। मध्यम विकास दर, नाजुक स्वास्थ्य बुनियादी ढांचे और प्रचलित गरीबी के कारण भारत जैसे उभरते/विकासशील देशों में इस महामारी का प्रभाव तुलनात्मक रूप से अधिक है।स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र इस अभूतपूर्व वैश्विक महामारी चुनौती के केंद्र में है। कोविड-19 ने नाजुक भारतीय स्वास्थ्य सेवा के बुनियादी ढांचे पर भारी बोझ डाला है। स्वास्थ्य देखभाल सुविधाओं की अपर्याप्तता, स्वास्थ्य देखभाल श्रमिकों के मनोबल पर नकारात्मक प्रभाव और निजी…
अंतर्राष्ट्रीय पिता दिवस यानी फादर्स डे जून माह के तीसरे रविवार को मनाया जाता है, इस साल 20 जून 2021 को भारत समेत विश्वभर में मनाया जायेगा। पिताओं के सम्मान में व्यापक रूप से मनाया जाने वाला यह एक खास पर्व है, अवसर है क्योंकि पिता रिश्तों के शिखर होते हैं। हर पिता अपनी संतान को हार न मानने और हमेशा आगे बढ़ने की सीख देते हुए हौसला बढ़ाते हैं। पिता से अच्छा मार्गदर्शक, हितैषी, गुरु कोई हो ही नहीं सकता। हर बच्चा अपने पिता से ही सारे गुण सीखता है जो उसे जीवनभर परिस्थितियों के अनुसार ढलने और लड़ने…
दुनिया भर के अधिकांश कृषि या ‘किसान’ समाजों में, आवधिक बाजार सामाजिक और आर्थिक संगठन की एक केंद्रीय विशेषता है। साप्ताहिक बाजार आसपास के गांवों के लोगों को एक साथ लाते हैं, जो अपनी कृषि या अन्य उपज बेचने और निर्मित सामान और अन्य सामान खरीदने के लिए आते हैं जो उनके गांवों में उपलब्ध नहीं हैं। वे स्थानीय क्षेत्र के बाहर के व्यापारियों के साथ-साथ साहूकारों, मनोरंजन करने वालों, ज्योतिषियों और अपनी सेवाओं और सामानों की पेशकश करने वाले कई अन्य विशेषज्ञों को आकर्षित करते हैं। ग्रामीण भारत में ऐसे विशिष्ट बाजार भी हैं जो कम अंतराल पर होते…
अंतरराष्ट्रीय योग दिवस का 7वां उत्सव भारत के साथ-साथ दुनियाभर के अधिकांश देशों में 21 जून 2021 सोमवार को नई थीम- “योग के साथ रहें, घर पर रहें” के तहत मनाया जाएगा। वर्तमान कोविड-19 महामारी के चलते अपने अंदर सकारात्मक ऊर्जा और बेहतर रोग प्रतिशोधक क्षमता विकसित करने के लिए योग का महत्व और भी अधिक हो चला है। योग की महत्व को लेकर भारत के प्रयासों के चलते दुनियाभर के देशों ने इसे संयुक्त राष्ट्र महासभा में स्वीकारा और 21 जून 2015 में पहली बार इसे विश्व स्तर पर मनाया गया। भारतीय योग एवं ध्यान के माध्यम से भारत…
उत्तर प्रदेश में धीरे-धीरे चुनावी माहौल बनने लगा है। तमाम दलों के नेताओं की यूपी में सक्रियता बढ़ गई है, जो लोकतंत्र में स्वभाविक भी है, इसी से देश को मजबूती मिलती है, लेकिन चिंता तब बढ़ जाती है जब तमाम राजनैतिक दल और उनके नेता एवं समर्थक पर्दे के पीछे से चुनाव जीतने हराने के लिए साजिशें रचना शुरू कर देते हैंै। खुले तौर पर राजनैतिक दलों द्वारा यह साजिशें अपने पक्ष में वोटों के धु्रवीकरण के लिए रची जाती हैं। इसी लिए चुनावी वर्ष में किसी भी राज्य सरकार के लिए प्रदेश मंे अमन-चैन और सौहार्द बनाए रखना…
क्रूर कोरोना वायरस के कालचक्र में फंसने से बचने की मेरी तमाम कोशिश बेकार गई।पता ही नहीं चला और मैं इस घाघ वायरस की चपेट में आ ही गया। तेज बुखार ,सर्दी -खांसी के साथ कोरोना वायरस ने जब मेरे बूढ़े शरीर को जकड़ा तो तरह तरह की शंकाओं से घिरा मेरा मन मुझे जीते जी मारने लगा किसी रोगग्रसित ब्यक्ति की प्राण रक्षा करने के लिए ईश्वर स्वरूप चिकित्सक ही आगे आते हैं। मुझे भी ऐसे समय में हमेशा की भांति डाक्टर छाबड़ा का साथ और हाथ मिला। उन्होंने कोरोना वायरस को मात देने वाली असरकारी दवाओं के साथ…
उत्तर प्रदेश विधान सभा चुनाव जीतने और विरोधियों पर बढ़त बनाने के लिए तमाम राजनैतिक दलों ने ‘माइंड गेम’ शुरू कर दिया है,ताकि जनता के बीच उनकी पार्टी की लोकप्रियता का ग्राफ ऊपर और विरोधी दलों का नीचे की ओर खिसकता दिखाई दे। इसके लिए तमाम ‘टोने-टुटकों’ का सहारा लिया जा रहा है। दूसरों की खामियां तो अपनी खूबिया बढ़-चढ़कर गिनाई जा रही हैं। काले को सफेद और सफेद को काला दिखाया जा रहा है। रूठों को मनाया तो तमाम दलों के ठुकराए गए या फिर हासिए पर पड़े नेताओं को गले लगाया जा रहा है। सियासत के बाजार के…
विश्व मरुस्थलीकरण रोकथाम दिवस (डब्ल्यूडीसीडी) वर्ष 1995 से प्रतिवर्ष 17 जून को मनाया जा रहा है। इसका उद्देश्य अंतरराष्ट्रीय सहयोग से उपजाऊ भूमि को मरुस्थल होने से बचाना, बंजर और सूखे के प्रभाव का मुकाबला करना और दसके लिये जन जागरुकता को बढ़ावा देना है। वर्ष 1994 में संयुक्त राष्ट्र महासभा ने अपने एक प्रस्ताव में बंजर और सूखे से जुड़े मुद्दे पर जन जागृति का माहौल निर्मित करने के लिये विश्व मरुस्थलीकरण रोकथाम और सूखा दिवस की घोषणा की। बढ़ते मरुस्थल के प्रति सचेत होना इसलिये जरूरी है कि दुनिया हर साल 24 अरब टन उपजाऊ भूमि खो देती…
गोधन न्याय योजना के तहत जोन 02 के ट्रेंचिंग ग्राउण्ड में संचालित गोबर खरीदी केन्द्र का भिलाई निगम आयुक्त श्री ऋतुराज रघुवंशी ने औचक निरीक्षण किया। माॅर्निंग विजिट के दौरान आयुक्त गोबर खरीदी केन्द्र पहुंचे और कंपोष्ट पीट में केचुंआ पालन का जायजा लिये। मौके पर उपस्थित जोन आयुक्त ने बताया कि गोबर के आवक के अनुरूप खाद कंपोष्ट पीट में क्रमशः खाद बनाने के प्रक्रिया अपनाई जा रही है। वर्मी खाद उत्पादन को बढ़ावा देने और नए कंपोष्ट पीट का निर्माण किया गया शेड लगने के बाद उसमंे भी गोबर का भराव किया जाएगा। वर्मी खाद के उत्पादन को…