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पंचांग के अनुसार, एक ज्योतिषीय दैनिक कैलेंडर, एक दिन के दोनों पक्ष हैं – अच्छा और बुरा। यह माना जाता है, दिन के एक विशिष्ट समय में किए गए कार्य फलदायक परिणाम प्राप्त करने में मदद करते हैं। पंचांग का उपयोग हिंदू ज्योतिष में किया जाता है और ग्रहों की स्थिति की जाँच की जाती है ताकि शुभ समय, त्योहारों, व्रतों और अन्य विभिन्न विवरणों का निर्धारण किया जा सके। वैदिक कैलेंडर के अनुसार, 14 फरवरी विक्रम संवत 2077 में माघ मास की शुक्ल पक्ष तृतीया तिथि है और दिन रविवार (रविवार) है। दिन की शुरुआत सूर्योदय से सुबह 6:59 बजे होगी और सूर्यास्त शाम 6:12 बजे होगा। इसी प्रकार चन्द्रोदय प्रातः 8:42 बजे और चन्द्रमा रात्रि 8:38 बजे है। विवरण के लिए नीचे पढ़ें: तीर्थ, नक्षत्र और राशी विवरण: तृतीया तिथि 15 फरवरी को सुबह 1.58 बजे तक रहेगी, इसके बाद शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि शुरू हो जाएगी। नक्षत्र प्रात: 04.33 तक पूर्वा भाद्रपद रहेगा जिसके बाद उत्तरा भाद्रपद शुरू होगा। सूर्य कुंभ (कुंभ) राशी में होगा। चंद्रमा भी उसी राशी में 10:09 बजे तक रहेगा जिसके बाद वह मीन (मीन) राशी में प्रवेश करेगा। 14 फरवरी के लिए शुभ मुहूर्त: दिन का सबसे शुभ समय माना जाता है, अभिजीत मुहूर्त 12.13 बजे शुरू होगा दोपहर और 12.57 बजे समापन होगा। इसके अलावा, विजय मुहूर्त और गोधुली मुहूर्त को भी बहुत अनुकूल माना जाता है और यह दोपहर 02:27 बजे से 03:12 बजे तक और शाम 06:00 बजे से शाम 06:24 बजे तक रहेगा। 14 फरवरी के लिए शुभ समय: राहु कालम लगेगा दिन में 04:47 बजे से शाम 06:12 बजे के बीच का स्थान और सबसे अशुभ समय माना जाता है। ।
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