दमोह जिला अस्पताल में नवजात शिशु की मौत पर परिजनों का हंगामा, लापरवाही के लगाए आरोप

नॉर्मल डिलीवरी के समय शिशु के गले में नाल फंसने से हुई मौत। व्यक्ति का आरोप है कि तीन दिन पहले सोनोग्राफी भी हुई थी, जिसमें डॉक्टर ने सब कुछ ठीक बताया था।

22 Feb 2024

दमोह : दमोह जिला अस्पताल में प्रसव के दौरान एक नवजात शिशु की मौत हो जाने पर बुधवार रात परिजनों ने हंगामा कर दिया। उनका आरोप था कि अस्पताल प्रबंधन की लापरवाही के कारण उनके शिशु की जान चली गई।नोहटा थाना के हरदुआघाट निवासी प्रसूता सुशीला प्रजापति के पति नारायण कुमार ने बताया कि तीन दिन पहले वह अपनी पत्नी को तेजगढ़ से रेफर कर जिला अस्पताल लेकर पहुंचा था। यहां पर उनसे कहा गया था कि सब कुछ नॉर्मल है। 

बुधवार रात पत्नी को प्रसव पीड़ा हुई तो उन्होंने स्टाफ से कहा, डॉक्टर और नर्स स्टाफ ने पत्नी की नॉर्मल डिलीवरी करते समय देखा कि शिशु के गले में नाल फंसी हुई है, जिससे उसकी मौत हो गई। पति का आरोप है कि तीन दिन पहले सोनोग्राफी भी हुई थी, जिसमें डॉक्टर ने सब कुछ ठीक बताया था। फिर अचानक नाल फंसने वाली बात कहां से आ गई। हंगामे की खबर मिलने के बाद कोतवाली पुलिस भी मौके पर पहुंच गई और विवाद को शांत कराया। 

वहीं, जिला अस्पताल के प्रबंधक सुरेंद्र विक्रम सिंह का कहना है कि अस्पताल के स्टाफ के द्वारा कोई लापरवाही नहीं की गई है। सोनोग्राफी में शिशु सामान्य स्थिति में दिखाई दे रहा था, लेकिन जब प्रसव होने लगा तो देखा कि बच्चों के गले में नाल फंसी हुई है। वह भी तीन फंदे में फंसी है। नर्स  ने शिशु को बचाने के काफी प्रयास किया, लेकिन वह नहीं बच पाया। परिजनों का आरोप गलत है। प्रसव में कोई लापरवाही नहीं की गई है।

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