न. सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को इलेक्टोरल बांड की असंवैधानिक नियुक्ति रद्द कर दी। समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष और यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत किया है. उन्हाेंने कहा कि ये भाजपा की नाजायज सोसायटी का भंडाफोड़ है।
अखिलेश यादव ने सोशल मीडिया एक्स पर लिखा कि ‘इलेक्ट्रॉल बैंड’ की अवैधता और उग्र खाटमे का सर्वोच्च न्यायालय का निर्णय लोकतंत्र के पुनर्जीवन के लिए स्वागत योग्य निर्णय है। ये बीजेपी की नाजायज कंपनी का भंडाफोड़ है. ये फैसला बीजेपी-भ्रष्टाचार के बंद का भी खुलासा है.
सपा प्रमुखों ने कहा कि जनता कह रही है कि हाथ में हाथ डाले भाजपाइयों द्वारा कथित सहायक समर्थक और इसी तरह के भाजपाई चंदों पर भी खबर दी जानी चाहिए। जब कर एटेलियर, सेलेब्रिटी, लैपटॉप से पिछले दसियों वर्ष का अकाउंट मांगा जाता है तो बीजेपी से क्यों नहीं मांगा जाए।
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बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि इलेक्टोरल बॉन्ड को अज्ञात रखने की सूचना के अधिकार और दिशानिर्देश 19 (1) (ए) का उल्लंघन है। सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश दिवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि राजनीतिक विचारधारा अपने बदले में आर्थिक मदद से कुछ और प्रशासनिक व्यवस्था को बढ़ावा दे सकती है।
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