सुधांशु मिश्र, हरदोई: यूपी विधानसभा चुनाव (UP Vidhansabha Chunav 2022) के पहले चरण का मतदान गुरुवार को जहां चलता रहा तो वहीं दूसरी ओर अगले चरण के मतदान वाले जिलों में सियासी पार्टियां चुनाव प्रचार में जुटी रहीं। गुरुवार को यूपी के हरदोई जिले की संडीला विधानसभा (sandila assembly) के भरावन क्षेत्र में जनसभा को संबोधित करने पहुंचे बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा (JP Nadda) ने सपा मुखिया अखिलेश यादव पर चुन-चुनकर हमले किए।
उन्होंने कहा कि कहा कि जब अखिलेश यादव सीएम थे, तब उन्होंने आतंकियों के मुकदमे वापस करने का काम किया था, इसलिए जनता को यह भी सोचना है कि जब रक्षक ही भक्षक बन जाए तो ऐसे लोगों को उत्तर प्रदेश नहीं देना है। साथ ही उन्होंने कहा कि कांग्रेस भारतीय और राष्ट्रीय पार्टी नहीं रह गई है, बल्कि भाई-बहन की पार्टी बनकर रह गई है।
बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कहा कि उनका सौभाग्य है कि इस पवित्र भूमि पर आने मौका मिला, जहां भगवान विष्णु ने नरसिंह का अवतार लेकर हिरण्यकश्यप का वध किया। इस पवित्र भूमि को नमन करता हूं। उन्होंने कहा कि चुनाव आते ही सभी दल अपने तरीके से आकर्षित करते हैं, लेकिन किसी पार्टी ने जो कहा वह नहीं किया, लेकिन बीजेपी ही ऐसी पार्टी है, जो जनता के सामने छाती ठोंककर कहती है कि जो कहा था किया है और जो कहेंगे, वह करेंगे, अन्य दल यह नहीं कह सकते।
‘परिवार की पार्टियां बन गईं’
उन्होंने कहा कि देश के कई राज्यों में कई पार्टियां हैं, जो क्षेत्रवाद, वंशवाद, परिवारवाद आदि से दूर देखने की आदत नहीं है। पश्चिम बंगाल, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, कश्मीर, महाराष्ट्र, हरियाणा और उत्तर प्रदेश सहित कई राज्यों में एक परिवार की पार्टियां हैं। उन्होंने कहा कि भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस न तो भारतीय रह गई और न ही राष्ट्रीय रह गई, यह कुछ प्रदेशों में ही सिमट कर रह गई है और यह भी भाई-बहन की पार्टी होकर रह गई है। परिवार की यह पार्टियां देश के लिए बहुत बड़ी राजनैतिक चुनौती है।
‘अखिलेश राज में गुंडाराज था’
जेपी नड्डा ने कहा कि अखिलेश के राज में गुंडाराज था, माताएं बहनें असुरक्षित थीं, लेकिन आजकल गुंडे या तो जेल में हैं या प्रदेश से बाहर हैं। उन्होंने कहा कि आज वे कह रहे दस तारीख आने दो, मतलब रस्सी जल गई पर बल नहीं गया। टीकाकरण को लेकर नड्डा ने अखिलेश पर निशाना साधा कहा कि उन्होंने बीजेपी की वैक्सीन कहकर जनता को गुमराह किया, लेकिन लोगों ने वैक्सीन लगवाई और बाद में अखिलेश यादव ने भी वही वैक्सीन लगवाई।
‘आतंकियों के केस वापस लिए गए थे सपा सरकार में’
जेपी नड्डा ने कहा कि मई 2007 में गोरखपुर में सीरियल बम ब्लास्ट हुआ था, लेकिन उत्तर प्रदेश पुलिस कुछ न कर पाई। तब नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी ने हरकत आई और उल जिहाद अल इस्लामी व इंडियन मुजाहिदीन के दो आतंकी पकड़े थे। एक आजमगढ़ और एक जौनपुर का था। सीएम अखिलेश बने तो दोनों के केस वापस करने को कहा, लेकिन इलाहाबाद हाई कोर्ट ने कहा कि आप केस वापस नहीं ले सकते हैं और कोर्ट ने दोनों को सजा सुनाई।
31 दिसम्बर 2007 यूपी के रामपुर के सीआरपीएफ कैम्प पर आतंकी हमला किया गया। 7 जवान शहीद हुए एनआईए ने नेपाल के बॉर्डर से शाहबदुद्दीन को पकड़ा, उससे जब पूछताछ हुई तो वह लश्कर ए तैयबा का कमांडर निकला, तब 7 आतंकी और पकड़े गए थे, उन पर केस चला, लेकिन अखिलेश ने केस वापस लिया। फिर इलाहाबाद कोर्ट ने कहा कि नहीं ले सकते, 4 को सजा-ए-मौत, 3 को उम्रकैद की सजा सुनाई।
नड्डा ने कहा कि हम संविधान में शपथ रक्षा की लेते हैं, लेकिन इन्होंने क्या आतंकी की रक्षा की शपथ ली है। उन्होंने कहा कि जो लोग रक्षक हों, वह भक्षक बन जाएं, क्या ऐसे लोगों को उत्तर प्रदेश देना है, यह हमें सोचना होगा।
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