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लगातार दो से तीन दिन से हो रही झमाझम बारिश से खेती-किसानी खेती कार्य में तेजी आ गई है। खेतों में किसानों की चहल-पहल बढ़ गई है। इधर, किसानों को पहले मानसून का इंतजार था, लेकिन मानसून प्रदेश में 10 जून को ही दस्तक दे दिया। किसानों को पहले उम्मीद थी कि मानसून 15 जून के बाद आएगा। उसी हिसाब से खेती-किसानी की तैयारी शुरू की थी। मगर, जल्द ही मानसून का प्रवेश होते ही और झमाझम बारिश होने से किसानों के चेहरे में मुस्कान आ गई है। बता दें कि ज्यादातर प्रदेश के किसान बारिश पर निर्भर रहते हैं। अब ट्रैक्टर समेत पारंपरिक रूप से बैलों से खेतों की जुताई कार्य में जुट गए हैं।
किसानों की तैयारी 15 जून से थी
आरंग ब्लॉक के रहने वाले किसान नेता परसनाथ साहू ने बताया कि हर साल की तरह किसानों में मानसून का इंतजार बेसब्री से रहता है। इस साल छत्तीसगढ़ में तय समय पहले मानसून की दस्तक से किसानों में खुशी की लहर है। प्रदेशभर में हो रही तेज बारिश से खेती-किसानी कार्य में तेज आएंगी। किसान खेतों की ओर रूख कर रहे हैं। उनका कहना है कि किसानों को 15 जून को मानसून आएगा उम्मीद थी।
बता दें कि रायपुर जिले के भानसोज, नारा, पलौद जैसे कई बड़े समितियों में अभी भी रखा हुआ है। जहां धान की बीनने की शिकायत है। इधर इस साल रायपुर जिले में चार लाख 68 हजार 276 मीट्रिक टन धान पंजीकृत किसानों से समर्थन मूल्य में खरीदी की है।
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