Ranchi : मुख्य सचिव सुखदेव सिंह ने बजट पूर्व गोष्ठी को संबोधित करते हुए कहा कि हमारे यहां बजट बन जाता है, लेकिन हमारे विभाग बजट की राशि को खर्च करने में पीछे रह जाते हैं. उसकी वजह है कि हम योजना तब बनाते हैं, जब बजट मिल जाता है. बजट आवंटित होने के बाद विभाग डीपीआर बनाता है. इसलिए हमें इस बात की जरूरत है कि जो भी योजना है, उसे बजट में लाने के पहले उस पर होम वर्क करें और कम से कम तीन साल के लिए योजना तैयार कर लें.
वित्त विभाग को हर विभाग की 6 या 8 महीने में समीक्षा करने की जरूरत
मुख्य सचिव ने कहा कि वित्त विभाग को हर विभाग की 6 या 8 महीने में समीक्षा करने की जरूरत है और नॉन परफॉर्मिंग विभाग के बजट को कट कर देना चाहिए. साथ ही योजनाओं में डुप्लीकेसी को रोकने की भी जरूरत है. हमें यह सोचना होगा कि जिन योजनाओं को हम केंद्र प्रायोजित करा सकते हैं, उन योजनाओं पर खर्च राज्य सरकार पर न पड़े. उन्होंने कहा, पीएल खाते के प्रबंधन के लिए भी एक सुदृढ़ व्यवस्था लागू होनी चाहिए.
हमीन कर बजट पोर्टल पर मिले 729 सुझाव
वित्त विभाग के प्रधान सचिव अजय कुमार ने कहा कि 10 जनवरी 2023 को हमीन कर बजट पोर्टल लॉन्च किया गया था. जिसमें कृषि, उद्योग, इनफार्मेशन, टेक्नोलॉजी, ऊर्जा, टूरिज्म, स्वास्थ्य, शिक्षा, महिला एवं बाल विकास को लेकर कुल 729 सुझाव प्राप्त हुए हैं. पिछले वर्ष बजट 2022-23 के लिए जो गोष्ठी का आयोजन हुआ था, उसमें कुल 16 सुझाव आए थे, जिनमें से 7 सुझावों को बजट में उपबंधित किया गया था.
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