पूर्व विधायक विजय मिश्र को जेल में इलाज नहीं मिलने पर कोर्ट ने जताई नाराजगी, जवाब तलब – Lok Shakti

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पूर्व विधायक विजय मिश्र को जेल में इलाज नहीं मिलने पर कोर्ट ने जताई नाराजगी, जवाब तलब

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने आगरा जेल में बंद भदोही के पूर्व विधायक विजय मिश्र को जेल में इलाज न मिलने  पर नाराजगी जताई है और जेल अधिकारियों से पूछा है कि ऐसा क्या कारण है कि विजय मिश्र को इलाज के लिए बाहर पुलिस अभिरक्षा में नहीं ले जाया जा सकता। कोर्ट ने राज्य सरकार से जवाब मांगा है। यह आदेश न्यायमूर्ति डॉक्टर कौशल जयेंद्र ठाकर  तथा न्यायमूर्ति नलिन कुमार श्रीवास्तव की खंडपीठ दिया है।

याची विधायक का कहना है कि उसे आंख और दांत में तकलीफ के अलावा कई दूसरी बीमारियां हैं, जिनका इलाज कराने के लिए दिल्ली स्थित एम्स या अपोलो अस्पताल ले जाने की  जरूरत है। कोर्ट ने आगरा जेल के अधिकारियों को निर्देशित किया है कि वे बंदी को सिविल अस्पताल रेफर करें और उसकी मेडिकल रिपोर्ट सात नवंबर तक अदालत में पेश करें। कोर्ट ने चेतावनी देते हुए कहा कि पालन न करने पर कोर्ट ऐक्शन लेगी।

इस संबंध में याची ने जेल अधिकारियों को पत्र लिखा था किन्तु कोई ध्यान नहीं दिया गया। आशंका जताई है कि यदि उनका इलाज ठीक से नहीं कराया गया तो बहुत जल्द वह  आंख की रोशनी खो देंगे। कोर्ट ने कहा कि कोई ऐसी मांग नहीं है जिसे पूरा नहीं किया जा सकता हो। सरकार व जेल अधिकारी नियमानुसार कार्रवाई करें।

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने आगरा जेल में बंद भदोही के पूर्व विधायक विजय मिश्र को जेल में इलाज न मिलने  पर नाराजगी जताई है और जेल अधिकारियों से पूछा है कि ऐसा क्या कारण है कि विजय मिश्र को इलाज के लिए बाहर पुलिस अभिरक्षा में नहीं ले जाया जा सकता। कोर्ट ने राज्य सरकार से जवाब मांगा है। यह आदेश न्यायमूर्ति डॉक्टर कौशल जयेंद्र ठाकर  तथा न्यायमूर्ति नलिन कुमार श्रीवास्तव की खंडपीठ दिया है।

याची विधायक का कहना है कि उसे आंख और दांत में तकलीफ के अलावा कई दूसरी बीमारियां हैं, जिनका इलाज कराने के लिए दिल्ली स्थित एम्स या अपोलो अस्पताल ले जाने की  जरूरत है। कोर्ट ने आगरा जेल के अधिकारियों को निर्देशित किया है कि वे बंदी को सिविल अस्पताल रेफर करें और उसकी मेडिकल रिपोर्ट सात नवंबर तक अदालत में पेश करें। कोर्ट ने चेतावनी देते हुए कहा कि पालन न करने पर कोर्ट ऐक्शन लेगी।

इस संबंध में याची ने जेल अधिकारियों को पत्र लिखा था किन्तु कोई ध्यान नहीं दिया गया। आशंका जताई है कि यदि उनका इलाज ठीक से नहीं कराया गया तो बहुत जल्द वह  आंख की रोशनी खो देंगे। कोर्ट ने कहा कि कोई ऐसी मांग नहीं है जिसे पूरा नहीं किया जा सकता हो। सरकार व जेल अधिकारी नियमानुसार कार्रवाई करें।