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Editorial :- अहिंसा का राग अलापने वाली कांग्रेस का हाथ माओवाद और कोरेगांव जैसे दंगो के साथ क्यों?

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अहिंसा का राग अलापने वाली कांग्रेस अब येन केन प्रकारेण सत्ता में आने के लिये हिंसा का भी रास्ता अख्तियार कर चुकी है।
आज का बड़ा खुलासा यह है कि भीमा कोरेगांव हिंसा में कांग्रेस का हाथ रहा है। कल का भी यह समाचार था कि यलगार परिषद के सदस्य रोना विल्सन के यहां छापेमारी में एक चिठ्ठी बरामद हुई। इस चिठ्ठीके मुताबिक कांग्रेस पार्टी कथित तौर पर माओवादियों को आर्थिक साधन मुहैया करा रही थी। पुणे पुलिस को छापेमारी के दौरान एक चिठ्ठीमिली जिसे कामरेड रू ने 2 जनवरी 2018 को लिखी थी।
इसकी चर्चा करने के पूर्व यह बता देना आवश्यक है कि सोनिया गांधी और राहुल गांधी के निर्देश पर मणिशंकर अय्यर पाकिस्तान में जाकर वहॉ के टीवी चैनल में साक्षात्कार में कहा था कि मोदी सरकार को हटाने के लिये पाकिस्तान मदद करे। इसके बाद एंकर ने पूछा कि क्या वे आईएसआई की सहायता चाहते हैं?
राहुल गांधी के आज प्रमुख सिपहेसालार हैं : उमर खालिद, कन्हैय्या कुमार, हार्दिक पटेल और इन पर देशद्रोह के मुकदमें चल रहे हैं।
भीमा कोरेगांव की हिंसा मेें कल जिन पांच लोगों की गिरफ्तारी हुई है उन पर भी देशद्रोह के मुकदमें संभव है प्रारंभ हो। पुणे की पुलिस की निगाह में जिग्रेश मेवानी भी हैं। ये सब राहुल गांधी के मददगार हैं। इसके अलावा तीश्ता शीतलवाड़ जैसी महिलाएं भी इस लिस्ट में शामिल हैं।
भीमाकोरेगांव हिंसा मामले को लेकर गुजरात के वडगाम से स्वतंत्र विधायक जिग्नेश मेवाणी पुलिस के रडार में गए हैं। पुणे के संयुक्त आयुक्त (सीपी) रविंद्र कदम ने प्रेस कांफ्रेस के दौरान इस बात की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि अगर आवश्यकता हुई तो मेवानी को जांचपड़ताल के तहत पूछताछ के लिए बुलाया जा सकता है।
भीमाकोरेगांव हिंसा मामले में पुलिस ने सुरेंद्र गाडलिंग, सुधीर धावले, रोना विल्सन, शोमा सेन और महेश राउत को हिरासत में लिया है। कदम ने आगे जानकारी देते हुए कहा कि, पुलिस पूरे मामले को तह से जांच कर रही है और इसके तहत हमने (पुलिस) ने उनमें से कुछ लोगों की घरों की तलाशी भी ली है। रोना विल्सन के घर पुलिस को पेन ड्राईव, हार्ड डिस्क सहित अन्य दस्तावेज बरामद किए हैं। साथ में पुलिस रोणा विल्सन और सुरेंद्र गाडलिंग के नक्सल में शामिल होने की बात का पता लगा रही है।
जनवरी की शुरुआत में मनाई गई भीमकोरेगांव युद्ध की 200 वीं वर्षगांठ  हिंसक मोड़ ले लिया था जिसमें एक युवक की मौत हो गई थी और कई लोग घायल हो गए थे। जिनमें 10 पुलिस के जवान भी शामिल थे।
भीमा कोरगांव हिंसा के मामले में प्रकाश अंबेडकर का भी नाम लिया जाता रहा है। टाइम्स नाउ के सीनियर एडिटर आनंद नरसिम्हन को डॉ. भीमराव अंबेडकर के पोते प्रकाश अंबेडकर ने धमकी दी है।
पुलिस ने गत एक जनवरी को भीमाकोरेगांव हिंसा के मामले में दलित कार्यकर्ता सुधीर धावले को मुंबई से और अन्य लोगों को नागपुर एवं दिल्ली से गिरफ्तार किया। पुलिस ने यलगार परिषद के कुछ सदस्यों के यहां छापेमारी की और इस छापेमारी में एक चिठ्ठीबरामद हुई जिसमें भीमाकोरेगांव हिंसा की साजिश का पर्दाफाश हुआ।
माओवादी, यलगार परिषद को लिखे गए पत्र में कांग्रेस के बारे में जिक्र कर रहे है कि दलित आंदोलन को आगे बढ़ाने में मदद देंगे। इसके साथ ही उनका कहना है कि जिग्नेश मेवानी और उमर खालिद उनके और कांग्रेस के बीच सेतु का कार्य करेंगे। यही नहीं आंबेडकर के भतीजे प्रकाश आंबेडकर के बारे में भी कहा गया है कि वो माओवादियों के साथ मिलकर दलित आंदोलन से किस तरह का फायदा उठाना चाहते हैं।
पुणे पुलिस द्वारा की गई छापेमारी में एक चिठ्ठीबरामद हुई है जिससे साफ है कि कुछ लोग अपनी राजनीतिक स्वार्थ की पूर्ति के लिए साजिश रच रहे थे।
इससे स्पष्ट है कि अहिंसा का राग अलापने वाली कांग्रेस अब माओवादी हिंसा को हथियार बनाकर दलितों, किसानों को भड़काकर जातिदंगे फैलाकर गृहयुद्ध की स्थिति उत्पन्न कर सत्ता पर काबिज होना चाहती है। ६० वर्षों तक सत्ता में रहने के उपरांत अब वह बिना सत्ता के छटपटा रही है।
यही कारण है कि प्रणव मुखर्जी द्वारा संघ के कार्यक्रम में उपस्थित होने और स्वयं सेवकों को संबोधित करने का कांग्रेस के नेताओं ने पुरजोर विरोध किया।
हम आशा करते हैं  कि आज पूर्व राष्ट्रपति द्वारा दिये गये संबोधन का ये नेता मनन कर देश की एकता और अखंडता को बनाये रखने का प्रयत्न करेंगे।