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पक्षियों का डेरा: मौसम हुआ मुफीद तो कीठम में बढ़े मेहमान, देखिए प्रवासी परिंदों की खूबसूरत तस्वीरें

मंगोलियाई रूट से देश में दस्तक देने वाले प्रवासी पक्षियों ने अब मौसम मुफीद होने पर सूर सरोवर पक्षी विहार, कीठम में डेरा जमा लिया है। तीन दिनों से प्रवासी पक्षियों के झुंड कीठम झील में अटखेलियां करते नजर आ रहे हैं। 800 हेक्टेयर में फैले पक्षी विहार में मेहमान परिंदों का कलरव सुनाई देने लगा है। राष्ट्रीय चंबल सैंक्चुअरी प्रोजेक्ट और पक्षी विशेषज्ञों के मुताबिक इस बार कीठम में प्रवासी पक्षियों की संख्या में इजाफा हुआ है। भरतपुर की जगह पक्षियों को कीठम झील रास आ रही है। कीठम के पास बड़े वेटलैंड जोधपुर झाल में भी पक्षियों की अठखेलियां नजर आ रही हैं। हिमालय की ऊंची चोटियों को पार करके मंगोलियाई रूट से देश में आने वाले प्रवासी पक्षियों के लिए अब सूर सरोवर पक्षी विहार का मौसम और पर्यावरण अनुकूल हो गया है। अगली स्लाइड में देखिए पक्षियों की खूबसूरत तस्वीरें…

तापमान में एकाएक गिरावट और सर्दी की दस्तक के साथ ही 20 से 30 हजार किमी की दूरी तय करने के बाद 30 से ज्यादा देशों के पक्षी कीठम में अपना डेरा जमा चुके हैं। इनमें पेलिकन, ब्लैक टेल्ड गोडविट, कॉमन टील, नोर्दन शोवलर, बार हेडेड गूज, व्हाइट वेगटेल, कारमोरेंट, रेड टेप्ड आईबिस, ब्लैक हेडेड आईबिस हैं। फरवरी तक यहां रहने के बाद यह वापस लौट जाएंगे।

घना पक्षी विहार की झील में पांच साल बाद पाचना बांध से पानी भरने के कारण उथले पानी में शिकार करने वाले पक्षी जोधपुर झाल आ गए हैं। कीठम में मछलियों की अच्छी तादाद है, भोजन मिलने के कारण पक्षियों ने यहां डेरा जमाया है। खासतौर पर डक फैमिली यहां काफी संख्या में आई है। -केपी सिंह, पक्षी विशेषज्ञ, बॉयो डायवर्सिटी रिसर्च सोसायटी

नवंबर के आखिरी सप्ताह में तापमान कम होने के साथ ही कीठम में पक्षियों के झुंड आने लगे हैं। बीते साल की तुलना में इस बार उनकी संख्या ज्यादा है। जनवरी में पक्षियों की गणना कराई जाएगी लेकिन वन्यजीव कर्मचारियों ने वॉच टावरों से देखने पर बीते साल से संख्या ज्यादा पाई है।  – दिवाकर श्रीवास्तव, डीएफओ, राष्ट्रीय चंबल सेंक्चुअरी प्रोजेक्ट

बीते साल 80 प्रजातियों के प्रवासी पक्षी दिखे थे। गणना के दौरान 5279 पक्षी मिले थे। जिसमें 503 ग्रेट कॉरमोरेंट, 1266 लिटिल कॉरमोरेंट, 67 ग्रेट पेलिकन, 562 नार्दन शॉवलर देखे गए थे। वहीं 1179 पक्षी जोधपुर झाल में देखे गए थे।