कांग्रेस ने महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी को उत्तराखंड सरकार के विमान से हाल ही में देहरादून के लिए उड़ान भरने पर आपत्ति जताते हुए कहा कि यह मानदंडों के खिलाफ है और पहले से ही कर्ज में डूबे राज्य के खजाने पर बोझ है।
गढ़वाल की कांग्रेस मीडिया प्रभारी गरिमा दसौनी ने कहा, ‘महाराष्ट्र का राज्यपाल होने के नाते कोश्यारी को राज्य के विमान से उत्तराखंड भेजना महाराष्ट्र सरकार की जिम्मेदारी थी।
उन्होंने कहा कि ऐसे समय में उत्तराखंड के संसाधनों पर अतिरिक्त बोझ पड़ा है, जब राज्य 70,000 करोड़ रुपये के कर्ज में डूबा हुआ है।
उन्होंने सोमवार को कहा, “अगर मुख्यमंत्री (पुष्कर सिंह धामी) अपने राजनीतिक गुरु के लिए विलासिता का विस्तार करने के इच्छुक थे, तो उन्हें राज्य के खजाने पर अतिरिक्त बोझ डालने के बजाय अपने निजी खर्च पर ऐसा करना चाहिए था।”
उन्होंने धामी से यह भी पूछा कि क्या वह सभी पूर्व मुख्यमंत्रियों को समान आतिथ्य प्रदान करेंगे।
संपर्क करने पर राज्य के मंत्री धन सिंह रावत ने कहा कि कांग्रेस को इस मामले पर बोलने से पहले कुछ आत्मनिरीक्षण करने की जरूरत है।
उन्होंने कहा, “कांग्रेस शासन के दौरान, यहां तक कि पार्टी के नेताओं ने भी राज्य के विमानों का इस्तेमाल किया।”
रावत ने कहा कि कोश्यारी को वह आतिथ्य प्रदान करना बिल्कुल उचित था, जो न केवल एक पूर्व मुख्यमंत्री बल्कि महाराष्ट्र के सेवारत राज्यपाल भी थे, और एक राज्य अतिथि के रूप में आ रहे थे।
धामी के राजनीतिक गुरु माने जाने वाले कोश्यारी रविवार को पहुंचे।
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